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मुंबई के डोंगरी इलाके में मंगलवार सुबह बड़ा हादसा हुआ. यहां पर चार मंजिला बिल्डिंग भरभरा कर गिर गई. इमारत के मलबे में करीब 40 से 50 लोगों के दबने की आशंका है, जबकि 4 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं. हालांकि इससे पहले 12 लोगों के मौत की बात कही जा रही थी. हादसे के बाद स्थानीय पुलिस, दमकल की गाड़ियां और NDRF की टीम मौके पर पहुंची है और बचाव कार्य किया जा रहा है. चश्मदीदों के मुताबिक, मलबे में करीब 8-10 परिवार दबे हो सकते हैं. अभी तक इसमें से सिर्फ एक मासूम को बाहर निकाला गया है.
इस हादसे में अभी तक प्रशासन की तरफ से 4 लोगों की मौत होने की पुष्टि की गई है. जबकि अभी तक आठ लोगों को मलबे में से सुरक्षित निकाला गया है. BMC की तरफ से अभी एक शेल्टर खोला गया है जहां पर इस बिल्डिंग के निवासियों के रुकने की व्यवस्था की जाएगी.
इस बीच BMC की एक चिट्ठी सामने आई है, जिसमें इस बिल्डिंग को C1 श्रेणी का बताया गया है. यानी इस बिल्डिंग को खतरनाक बताया गया है और खाली करने की सलाह दी गई है.
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि ये 100 साल पुरानी बिल्डिंग है, वहां के निवासियों को इस बिल्डिंग के रिडेवलेप होने की परमिशन मिली थी. हालांकि, अभी हमारा फोकस लोगों को बचाने पर है. जब सारी बातें सामने आएंगी तो इसकी जांच कराई जाएगी.
अभी मौके पर 10 से अधिक एम्बुलेंस पहुंच गई हैं, जो घायलों को अस्पताल ले जाने में मदद कर रही हैं. BMC की तरफ से जो शेल्टर खोला गया है, वहां पर भी घायलों को ले जाया सकता है. हादसा काफी बड़ा है इसी वजह से NDRF की तरफ से अब टीमें मौके पर भेजी गई हैं.
ये बिल्डिंग BSB डेवलपर्स की है. इस बिल्डिंग को 2012 में NOC दी गई थी. MHADA के मुताबिक, ये बिल्डिंग उस लिस्ट का हिस्सा नहीं है, जिसमें खतरनाक बिल्डिंगों को शामिल किया गया है.
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NDRF का कहना है कि ये बिल्डिंग संकरी गली में है, जिसकी वजह से राहत कार्य करने में मुश्किल हो रही है. हालांकि, लगातार टीमें वहां पर पहुंच रही है, आसपास की इमारतों को भी खाली कराया गया है. प्रशासन की मदद करने के लिए स्थानीय निवासी भी सामने आए हैं और वह मलबा हटाने में मदद कर रहे हैं.
बीएमसी के मुताबिक, मंगलवार 11 बजकर 48 मिनट पर डोंगरी के टांडेल गली में केसरबाई नाम की बिल्डिंग का आधा हिस्सा गिर गया. यह बिल्डिंग अब्दुल हमीद शाह दरगाह के पीछे है और काफी पुरानी है. चश्मदीद के मुताबिक, इस बिल्डिंग में 8-10 परिवार रहते हैं.
एक प्रत्यक्षदर्शी का कहना है कि ये बिल्डिंग 80 से 100 साल पुरानी है और इसमें 8 से 10 परिवार रहता है. जब बिल्डिंग गिरी तो इसमें 40 लोग मौजूद थे. जब बिल्डिंग गिरी तो ऐसा लगा कि मानो भूकंप आ गया है.
हादसे पर शुरू हुई राजनीति
बिल्डिंग गिरने के मामले में राजनीति भी तेज हो गई है. AIMIM के विधायक वारिस पठान ने इस घटना को हादसा नहीं बल्कि एक हत्या बताया है. उन्होंने कहा कि मैं पिछले पांच साल से जर्जर बिल्डिंग का मसला उठा रहा हूं. कई बार विधानसभा के अंदर मैंने सवाल उठाया. सरकार की ओर से आश्वासन दिया गया लेकिन आजतक कोई कार्रवाई नहीं की गई.
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आपको बता दें कि बीते कुछ दिनों से मुंबई में लगातार बारिश हो रही है. बारिश की वजह से मुंबईकरों को काफी मुश्किलें हो रही हैं, जिसमें बिल्डिंग गिरने की घटना सामने आई हैं. इसके अलावा कई हादसे ऐसे हुए हैं, जहां पर लोग नाले में बह गए.