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पुणे हादसाः पोर्श कार का अस्थायी पंजीकरण होगा रद्द, नाबालिग आरोपी के पिता के ड्राइवर से फिर पूछताछ कर रही पुलिस

विशाल अग्रवाल के ड्राइवर से पुलिस आज फिर से पूछताछ कर रही है. ड्राइवर ने अपने पहले बयान में दावा किया था कि जब हादसा हुआ, तब वह पोर्श कार चला रहा था, किशोर आरोपी ने भी अपने पहले बयान में कहा था कि जब ये हादसा हुआ तो ड्राइवर ही पोर्श चला रहा था.

यही पोर्श कार नाबालिग आरोपी चला रहा था. यही पोर्श कार नाबालिग आरोपी चला रहा था.
aajtak.in
  • पुणे,
  • 23 मई 2024,
  • अपडेटेड 4:25 PM IST

पुणे का पोर्श कार हादसा इन दिनों चर्चा में हैं. पुलिस ने इस केस में अबतक 5 लोगों को अरेस्ट कर चुकी है. अब क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय ने पोर्श कार के अस्थायी पंजीकरण (Temporary Registration) को रद्द करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक पोर्श कार को टेम्परेरी रजिस्ट्रेशन पर महाराष्ट्र भेजा गया था, मार्च के महीने में कार को बेंगलुरु के एक डीलर द्वारा इंपोर्ट किया गया था. 

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जानकारी के मुताबिक जब लग्जरी कार को पुणे आरटीओ ले जाया गया, तो पता चला कि रजिस्ट्रेशन से संबंधित एक शुल्क का भुगतान नहीं किया गया था. इतना ही नहीं, कागजी कार्रवाई पूरी करने के लिए कार के मालिक से पैसे देने के लिए भी कहा गया था. अधिकारियों ने कहा कि शुल्क का भुगतान नहीं किया गया था, इसलिए वाहन का स्थायी पंजीकरण पेंडिंग था.

क्या कहता है नियम?

मोटर वाहन अधिनियम में प्रावधान है कि अगर ऐसा हादसा होता है, जिसमें कोई नाबालिग कार चला रहा था, तो पंजीकरण प्रमाणपत्र 12 महीने के लिए रद्द किया जा सकता है. आरटीओ अधिकारी संजीव भोर ने कहा कि हमने कार के अस्थायी पंजीकरण को रद्द करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है और कार के पंजीकृत मालिक को इस आशय का नोटिस जारी किया गया है. 

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हादसे के बाद पुलिस ने जब्त की कार

अधिकारियों के मुताबिक कार के लिए अस्थायी पंजीकरण आवंटित किया गया था, क्योंकि इसे बेंगलुरु से पुणे लाया गया था. उन्होंने कहा कि बिना सही रजिस्ट्रेशन नंबर के सड़क पर कार चलाना अपराध है. हादसे के बाद पुलिस ने लग्जरी कार को जब्त कर लिया है.

विशाल के ड्राइवर से पूछताछ कर रही पुलिस

विशाल अग्रवाल के ड्राइवर से पुलिस आज फिर से पूछताछ कर रही है. ड्राइवर ने अपने पहले बयान में दावा किया था कि जब हादसा हुआ, तब वह पोर्श कार चला रहा था, किशोर आरोपी ने भी अपने पहले बयान में कहा था कि जब ये हादसा हुआ तो ड्राइवर ही पोर्श चला रहा था, किशोर के 2 अन्य दोस्त जो उसके साथ थे. उन्होंने भी अपने बयान में ये कहा था कि कार को उनका दोस्त नहीं, बल्कि ड्राइवर चला रहा था. वहीं, पुलिस ने विशाल अग्रवाल का मोबाइल फोन बरामद कर लिया गया है. इसके जरिए पुलिस हादसे की रात के फोन कॉल्स और मैसेजेस खंगालेगी.

पुलिस ने किसे गिरफ्तार किया?

पुलिस ने अब तक पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया है. इनमें बार के दो मैनेजर, बार का मालिक, होटल कर्मचारी और आरोपी के पिता विशाल अग्रवाल का नाम शामिल है. जबकि नाबालिग आरोपी को 5 जून तक पर्यवेक्षण गृह में भेजा गया है. 

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क्या था मामला?

पुणे में 17 साल के लड़के ने तीन दिन पहले यानी रविवार तड़के कल्याणी नगर में शराब के नशे में अपनी पोर्शे कार से बाइक सवार दो इंजीनियरों को रौंद दिया था. हादसे में दोनों की मौत हो गई थी. आरोपी कार चालक दरअसल रियल एस्टेट डेवलपर विशाल अग्रवाल का बेटा है. 

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