
भूमाता रणरागिनी महिला ब्रिगेड की अध्यक्षा तृप्ति देसाई और उनकी महिला कार्यकर्ताओं ने शनिवार को पुणे के एक हनुमान मंदिर में जबरदस्ती प्रवेश किया. इस मंदिर में महिलाओं को पूजा करने की मनाही थी, इसी कारण तृप्ति देसाई ने मंदिर में प्रवेश किया. यही नहीं महिला कार्यकर्ताओं की मंदिर के पुजारी के साथ हाथापाई तक बात पहुंच गई. इस घटना से गुस्साए पुजारी ने एक टीवी कैमरे पर हाथ भी दे मारा.
महिलाओं के प्रवेश पर थी पाबंदी
तृप्ति देसाई ने 'आज तक' को फोन पर बताया कि उन्हें जानकारी मिली थी कि शहर के पाषाण इलाके में एक मंदिर है, जहां महिलाओं को मुख्य मंदिर के अंदर प्रवेश नहीं करने दिया जाता है. इस मंदिर में महिलाओं को पूजा करने की सख्त मनाही है. इतना ही नहीं मंदिर की दीवार पर 'महिलाओं को प्रवेश नहीं है' का बोर्ड भी लगाया गया था. मंदिर में लगे बोर्ड पर लिखा है-
'सूचना :- महिलाओं को अंदर प्रवेश नहीं करना है. मूर्ति पर तेल नहीं चढ़ाना है. बाहर की कोई भी चीज यहां नहीं रखनी है.'
पहले भी हुए हैं आंदोलन
आपको बता दें कि भूमाता रणरागिनी महिला ब्रिगेड अध्यक्षा तृप्ति देसाई ने महाराष्ट्र के अहमदनगर जिले के शनिशिंगणापुर मंदिर में महिलाओं को पुरुषों के समान हक दिलाने के लिए 20 दिसंबर 2015 में आंदोलन शुरू किया था. साथ ही नासिक जिले के त्र्यम्बकेश्वर ज्योतिर्लिंग के मुख्य मंदिर में महिलाओं को प्रवेश दिया जाए, इसके लिए भी आंदोलन छेड़ा था. इस मामले में अदालत ने भी महिलाओं के पक्ष में फैसला सुनाया.
महिलाओं से कराई गई पूजा
अब पुणे के एक हनुमान मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर पाबंदी से एक और विवाद छिड़ गया है. 12 अगस्त को भूमाता रणरागिनी महिला ब्रिगेड की अध्यक्षा तृप्ति देसाई और उनकी महिला ब्रिगेड ने पाषाण इलाके के इस हनुमान मंदिर में महिलाओं द्वारा पूजा कराई और पाषाण इलाके की महिलाओं को उनका हक तो दिला दिया है लेकिन ये जीत कहीं कल फिर से पाबंदी ना बन जाए. तृप्ति देसाई के मुताबिक अगर पाषाण इलाके के हनुमान मंदिर में दोबारा महिलाओं को रोका गया तो वो फिर से इसी मंदिर में जाकर आंदोलन करेंगी.