
बृहन्मुंबई महानगरपालिका चुनाव के नतीजे 23 फरवरी को आएंगे लेकिन इस चुनाव को लेकर इंडिया टुडे के एग्जिट पोल में पुरानी सहयोगी रही बीजेपी और शिवसेना के बीच कांटे की टक्कर सामने आई है. इससे ये कयास लगने लगे हैं कि पिछले कुछ समय से चल रही खटास के बीच क्या फिर से दोनों दल एक साथ आएंगे. क्योंकि केंद्र और महाराष्ट्र की सरकार में दोनों सहयोगी हैं.
क्या कहता है इंडिया टुडे-एक्सिस का एक्जिट पोल?
बीएमसी की 227 सीटों के लिए के लिए मंगलवार को वोट डाले गए. 55 फीसदी मतदाताओं ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया. इस चुनाव पर इंडिया टुडे-एक्सिस के एक्जिट पोल में इस बार अलग लड़ रहे पुराने सहयोगियों बीजेपी और शिवसेना के बीच कांटे की टक्कर देखने को मिल रही है. एक्जिट पोल में शिव सेना को 86 से 92 और बीजेपी को 80 से 88 वार्ड मिलने का अनुमान जताया गया है. दोनों दलों को 32-32 फीसदी वोट मिलने का भी अनुमान जताया गया है. हालांकि, बाकी के दलों कांग्रेस, एनसीपी और एमएनएस की हालत काफी खराब दिख रही है. कांग्रेस को 16 फीसदी वोट और एनसीपी को 4 और एमएनएस को 8 फीसदी वोट जाते दिख रहे हैं.
क्या रहे थे पिछले नतीजे?
पिछले चुनाव में शिवसेना-बीजेपी साथ मिलकर लड़ी थीं. शिवसेना को 75 और बीजेपी को 31 वार्ड में जीत हासिल हुई थी. दो दशकों में पहली बार ये दोनों दल अलग-अलग बीएमसी के चुनावी अखाड़े में अपनी किस्मत आजमा रहे हैं.
BMC में किसे कितने वार्ड मिल सकते हैं?
एक्जिट पोल के मुताबिक-
-शिवसेना को 32 फीसदी वोट मिल सकते हैं. सीट के हिसाब से शिवसेना के पास 80-88 वार्ड जा सकते हैं.
-बीजेपी को भी 32 फीसदी वोट मिल सकते हैं. इसे वार्ड में बदलें तो इसकी संख्या 80-90 हो सकती हैं.
-सबसे ज्यादा नुकसान कांग्रेस को हो रहा है. यहां कांग्रेस 30 वार्ड तक सिमट सकती है. कांग्रेस को पिछली बार 52 सीटें मिली थीं.
-एनसीपी को 3 से 6 वार्ड मिल सकते हैं.
क्यों हैं सुलह की उम्मीद?
पिछले कुछ समय से शिवसेना और बीजेपी के बीच खटास बढ़ी है. गोवा में दोनों दल अलग-अलग चुनाव मैदान में उतरे. गुजरात में बीजेपी के धुर विरोधी हार्दिक पटेल को शिवसेना ने गुजरात में अपना चेहरा बना लिया. बीएमसी चुनाव में पिछले दो दशक में पहली बार दोनों दल अलग-अलग उतरे हैं. लगातार दोनों तरफ से बयानों के तीर चल रहे हैं लेकिन इन सबके बावजूद सुलह की उम्मीदें बची हुई हैं. तल्खी के बावजूद महाराष्ट्र की फड़नवीस सरकार में और केंद्र की मोदी सरकार में दोनों सहयोगी हैं और शिवसेना के मंत्री कैबिनेट में बने हुए हैं. नतीजों के बाद कभी भी मामला पलट सकता है.
अन्य नगरपालिकाओं में भी हुए चुनाव
बीएमसी के साथ ठाणे, पुणे, नासिक समेत 10 महानगर पालिकाओं के लिए भी मत डाले गए. 23 फरवरी को इन चुनावों के नतीजे आएंगे.