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पंजाब में महिलाओं को 33% आरक्षण, बिहार में एक अनार कई बीमार, सुनें 'आज का दिन'

अब पंजाब की कैप्टन सरकार ने सरकारी नौकरियों में महिलाओं को 33 परसेंट आरक्षण देने का फ़ैसला लिया है. ख़ुद मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने ट्वीट करके ये जानकारी दी. राज्य सरकार ने पंजाब सिविल सेवा नियम, 2020 को भी मंज़ूरी दी है ताकि पदों पर सीधी भर्ती में महिलाओं को आरक्षण मिले.

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह (फाइल फोटो) पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह (फाइल फोटो)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 15 अक्टूबर 2020,
  • अपडेटेड 8:00 AM IST

आम तौर पर सियासी मामलों में शांत रहनेवाला पंजाब आजकल सुर्खियों में रहता है. पहले कृषि बिल पर उठापटक चलती रही. सरकार का भी समर्थन विरोध करनेवालों को मिलता रहा और अब पंजाब की कैप्टन सरकार ने सरकारी नौकरियों में महिलाओं को 33 परसेंट आरक्षण देने का फ़ैसला लिया है. ख़ुद मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने ट्वीट करके ये जानकारी दी. राज्य सरकार ने पंजाब सिविल सेवा नियम, 2020 को भी मंज़ूरी दी है ताकि पदों पर सीधी भर्ती में महिलाओं को आरक्षण मिले. फ़िलहाल पंजाब में चुनाव को लेकर ठीकठाक समय बचा है मगर ये घोषणाएँ होते ही सवाल शुरू हो गए कि क्या अमरिंदर सिंह चुनावी मोड़ में आ गए हैं..  यही बता रहे हैं चंडीगढ़ से हमारे वरिष्ठ सहयोगी मनजीत सहगल.

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उधर पंजाब में सरकार भले ही चुनावी मोड में दिखती हो लेकिन असल में चुनाव तो बिहार में ही हैं. यही वजह है कि रोज़ वहाँ से कुछ ना कुछ ख़बर आती रहती है और क्योंकि हमारा वादा है कि हम आपको इन हलचलों से रूबरू कराते रहेंगो तो वो हम भूले नहीं. कल कांग्रेस पार्टी में दिग्गज नेता शरद यादव की बेटी सुभाषिनी शामिल हो गईं. कहा जा रहा है टिकट मिलेगा. फिर कल ही भाजपा ने 35 उम्मीदवारों की नई लिस्ट भी जारी कर दी है लेकिन बात हम जो करनेवाले हैं वो है बिहार में सीएम पद चाहनेवालों की. एक अनार और दो तीन बीमारों से मामला ज़्यादा आगे बढ़ता दिख रहा है. इस सवाल के जवाब तलाशे हमने पटना में हमारे सहयोगी रोहित कुमार सिंह के साथ. 

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लोन पर मोरेटोरियम के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने सरकार से कहा है कि आम लोगों की दिवाली सरकार के हाथ में है. ऐसा क्यों कहा अदालत ने? वो इसलिए क्योंकि केंद्र सरकार को दो करोड़ रुपये तक के लोन पर ब्याज में छूट देनी है लेकिन वो अब तक सर्कुलर जारी नहीं कर सकी. कोर्ट ने कहा कि फ़ैसला हो चुका है तो उसे लागू करने में देरी नहीं की जानी चाहिए. अब अगली सुनवाई दो नवंबर को होगी. इस मामले को विस्तार में समझाया शुभम खंधार ने. 


और ये भी जानिए कि 15 अक्टूबर की तारीख इतिहास के लिहाज़ से अहम क्यों है.. क्या घटनाएं इस दिन घटी थीं. अख़बारों का हाल भी पांच मिनटों में सुनिए और खुद को अप टू डेट कीजिए. इतना कुछ महज़ आधे घंटे के न्यूज़ पॉडकास्ट 'आज का दिन' में नितिन ठाकुर के साथ.

'आज का दिन' सुनने के लिए यहां क्लिक करें

 

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