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कांग्रेस ने मंजूर किया नीतीश कुमार का न्योता, अधीर रंजन बोले- एकजुट हुआ विपक्ष तो सत्ता में नहीं लौटेंगे मोदी

नीतीश कुमार की पहल पर बीजेपी विरोधी दलों की बैठक 12 जून को पटना में हो सकती है. इस बैठक में कांग्रेस शामिल होगी. इसको लेकर कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि अगर विपक्ष एकजुट हुआ तो मोदी सत्ता में नहीं लौटेंगे.

नीतीश कुमार और अधीर रंजन चौधरी (फाइल फोटो) नीतीश कुमार और अधीर रंजन चौधरी (फाइल फोटो)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 29 मई 2023,
  • अपडेटेड 8:27 AM IST

बिहार में अगले महीने होने वाली विपक्षी दलों की बैठक में कांग्रेस शामिल होगी. इसकी पुष्टि लोकसभा में कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने की है. चौधरी ने कहा नीतीश कुमार ने पटना में आयोजित होने वाली विपक्षी दलों की बैठक में शामिल होने के लिए न्योता दिया है, जिसे कांग्रेस ने स्वीकार कर लिया है. 

अधीर रंजन ने कहा, "एक बार विपक्ष एकजुट हो जाए तो पीएम मोदी को चुनाव में हराने का मौका मिल जाएगा. भारत की अन्य विपक्षी पार्टियों को हम पहले दिन से यही बता रहे हैं, लेकिन विपक्ष में कुछ इससे सहमत हैं तो कुछ असहमत. हम कुछ क्षेत्रीय पार्टियों को देखते हैं जिन्हें कांग्रेस के साथ आने में दिक्कत होती है. कांग्रेस की ओर से हमारे नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने नीतीश कुमार को जिम्मेदारी दी थी कि जिन्हें बुलाना है बुला लें. अगर विपक्ष एकजुट होगा तो मोदी सत्ता में नहीं लौटेंगे. नीतीश कुमार ने बुलाया है. अगर वह कांग्रेस को आमंत्रित करते हैं, तो कांग्रेस जाएगी. यदि वह अन्य क्षेत्रीय दलों को आमंत्रित करते हैं तो वे जाएंगे. यह उन पर ही निर्भर करता है, लेकिन कांग्रेस को कोई दिक्कत नहीं है. इसीलिए जब नीतीश कुमार ने पटना में सबको एक साथ मिलने के लिए न्योता दिया है तो कांग्रेस ने न्योता स्वीकार कर लिया है." 

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पटना में अगले महीने हो सकती है बैठक 

बता दें कि नीतीश कुमार की पहल पर बीजेपी विरोधी दलों की बैठक 12 जून को पटना में हो सकती है. रविवार को हुई जेडीयू की बैठक के बाद इसके संकेत मिले हैं. हालांकि किसी भी महत्वपूर्ण पदाधिकारी ने इसकी पुष्टि या खंडन नहीं किया. बैठक में मौजूद कई नेताओं ने नाम न छापने की शर्त पर कहा कि इसका खुलासा खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने किया था.  

केजरीवाल, ममता, अखिलेश से कर चुके हैं मुलाकात 

नीतीश कुमार, जोकि विपक्षी एकता के लिए मुहिम चला रहे हैं. उन्होंने बीते साल अगस्त में पार्टी में दरार पैदा करने और उनकी पार्टी को कमजोर करने की कोशिश के आरोपों के बाद बीजेपी से गठबंधन तोड़ दिया था. नीतीश कुमार बिहार में महागठबंधन सरकार का नेतृत्व कर रहे हैं, जिसमें आरजेडी, कांग्रेस और वाम दल शामिल हैं. नीतीश पहले ही दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल, बंगाल सीएम ममता बनर्जी, यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव और राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे से मुलाकात कर चुके हैं, जोकि बीजेपी के विरोध में हैं.  

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ममता ने दिया था पटना में बैठक का विचार 

दरअसल, पटना में विपक्षी नेताओं की एक बैठक आयोजित करने का विचार  ममता बनर्जी ने दिया था, जिन्होंने बीते महीने कोलकाता में कुमार से मुलाकात के दौरान जयप्रकाश नारायण की स्मृति का आह्वान किया था. विपक्षी एकता की मुहिम को लेकर नीतीश ने न केवल उद्धव ठाकरे और शरद पवार जैसे कांग्रेस के सहयोगियों के साथ मुलाकात की बल्कि तेलंगाना के सीएम केसीआर जैसे विरोधियों के साथ भी मुलाकात की है.  

नीतीश ने पटनायक से भी की थी मुलाकात 

इसके अलावा ओडिशा के सीएम नवीन पटनायक से भी नीतीश कुमार ने मुलाकात की थी, जिसमें कहा गया था कि नीतीश कुमार ने ओडिशा में बिहार सरकार के गेस्ट हाउस के लिए जमीन की तलाश के लिए पटनायक से मुलाकात की. इसको लेकर बीजेपी, नीतीश कुमार का मजाक उड़ा रही है क्योंकि बीजू जनता दल के सुप्रीमो ने किसी भी गठबंधन में शामिल होने से इनकार कर दिया था. 

 

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