
मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने मंगलवार को कहा कि मणिपुर में लोकसभा चुनाव में अचानक इमोशनल विस्फोट की वजह से लोगों ने कांग्रेस को वोट दिया. पर उसके दो सांसदों ने संसद में राज्य के मुख्य मुद्दों को नहीं उठाया. सीएम ने ये बातें संविधान के 75 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में भाजपा के 15 दिवसीय कैंपेन के संविधान गौरव अभियान को संबोधित करते हुए कहीं हैं.
इंफाल में पार्टी के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने दावा किया कि अगर केंद्र में बीजेपी नहीं होगी तो मणिपुर टूट जाएगा. उन्होंने मणिपुर में तीन प्रमुख समुदायों को क्षेत्रीय स्वायत्तता देने के पूर्व केंद्रीय मंत्री पी. चिदंबरम के सुझाव पर चुप्पी के लिए भी कांग्रेस की आलोचना की.
सीएम ने लोगों से पूछा सवाल
मुख्यमंत्री बीरेन सिंह ने थम्बल सांगलेन में संविधान गौरव अभियान को संबोधित करते हुए कहा, 'जनता ने अचानक इमोशनल विस्फोट में कांग्रेस को वोट दिया. हालांकि, क्या दोनों सांसदों ने सीमा पर बाड़ लगाने, एफएमआर (मुक्त आवाजाही व्यवस्था) और अवैध प्रवासियों की पहचान पर एक शब्द भी कहा है? फिर वे कैसे निर्वाचित हो गए? ऐसे महत्वपूर्ण वक्त में जब कई लोग मारे गए और विस्थापित हुए, उन्हें वोट कैसे दिए गए? मैं मणिपुर के लोगों से पूछना चाहता हूं कि उन्हें वोट क्यों दिए गए, अब वे क्या कर रहे हैं?.'
कांग्रेस पर साधा निशाना
उन्होंने कहा कि सांसदों को सदन में मुख्य मुद्दों पर बोलना चाहिए, लेकिन दोनों कांग्रेसी सांसदों ने संसद में कौन-से मुद्दे उठाए हैं?.'
बीते दिनों एक्स पर चिदंबरम की पोस्ट को लेकर कांग्रेस पर हमला करते हुए सीएम ने कहा कि उनकी पार्टी ने उस मुद्दे पर कभी भी स्पष्टीकरण नहीं दिया है. हालांकि, बाद में कांग्रेस नेता ने अपनी पोस्ट डिलीट कर दी थी.
सीएम ने कहा, 'यह उनके वक्त के दौरान था कि जब बाहर के लोगों ने सस्पेंशन ऑफ ऑपरेशन (एसओओ) समझौते पर साइन किए थे. वह (कांग्रेस) ऐसे बात करते हैं जैसे यहां सीमा पर कुछ भी नहीं हो रहा है. उन्हें बढ़ते डेमोग्राफिक असंतुलन के बारे में नहीं जानते.'
बीरेन सिंह ने दावा किया, 'भाजपा की सरकार ने राज्य को बचाने का काम किया है. अगर केंद्र में भाजपा नहीं होगी तो मणिपुर टूट जाएगा. केवल भाजपा ने ही राज्य को बचाया है. जो लोग देश और जमीन से प्यार करते हैं वे भाजपा के समर्थक हैं.'