
बृजभूषण शरण सिंह पर दर्ज यौन उत्पीड़न की जांच कर रही दिल्ली पुलिस ने उन मीडिया रिपोर्ट्स को खारिज कर दिया, जिनमें बीजेपी सांसद को राहत देने की बात कही जा रही थी. दिल्ली पुलिस ने सफाई जारी कर कहा कि मामले में अभी जांच चल रही है. जांच पूरी होने के बाद रिपोर्ट कोर्ट में पेश की जाएगी.
पुलिस ने बयान जारी कर कहा कि कुछ मीडिया चैनल खबर चला रहे हैं कि बृजभूषण सिंह के खिलाफ पर्याप्त सबूत नहीं मिले हैं और पुलिस द्वारा फाइनल रिपोर्ट दर्ज करने की तैयारी की जा रही है. यह खबर पूरी तरह गलत है. यह केस अभी विवेचन में है और पूरी जांच के बाद ही उचित रिपोर्ट कोर्ट में रखी जाएगी.
बृजभूषण के खिलाफ दर्ज हैं दो मामले
दरअसल, बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ 7 महिला पहलवानों ने यौन उत्पीड़न की शिकायत दर्ज कराई है. पहलवानों की शिकायत पर दिल्ली पुलिस ने दो मामले दर्ज किए हैं. पुलिस ने महिला पहलवानों समेत कई लोगों के बयान भी दर्ज किये हैं. पुलिस मामले में जांच में जुटी है.
वाया हरिद्वार दिल्ली से स्विट्जरलैंड तक बवाल
जंतर मंतर से शुरू हुआ पहलवानों का धरना प्रदर्शन दिल्ली से हरिद्वार होते स्विट्जरलैंड तक पहुंच गया है. पहलवान कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष और बीजेपी सांसद बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं. पहलवानों ने 23 अप्रैल को जंतर मंतर पर बृजभूषण के खिलाफ धरना शुरू किया था. लेकिन 28 मई को जंतर मंतर पर हुए बवाल के बाद पुलिस ने जंतर मंतर पर धरना खत्म कर दिया.
इसके विरोध में पहलवानों ने मंगलवार को अपने मेडल को गंगा में बहाने का ऐलान किया था. बजरंग पूनिया, विनेश फोगाट और साक्षी मलिक अपने समर्थकों के साथ शाम को हरिद्वार भी पहुंचे थे. हालांकि, किसान नेता नरेश टिकैत के समझाने के बाद उन्होंने मेडल गंगा में न बहाने का फैसला किया. नरेश टिकैत ने इसके साथ ही सरकार को 5 दिन का अल्टीमेटम भी दिया. टिकैत ने गुरुवार को मुजफ्फरनगर में महापंचायत का भी ऐलान किया.
उधर, रेसलिंग के सबसे बड़े संगठन UWW (जिसका मुख्यालय स्विट्जरलैंड में है) ने WFI को चेतावनी देते हुए कहा है कि अगर 45 दिनों में संगठन के चुनाव नहीं हुए तो भारतीय बॉडी को सस्पेंड भी किया जा सकता है.