
पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने महाकुंभ में गैर हिंदू को दुकान न देने का समर्थन किया है. उन्होंने तंस कसते हुए कहा कि 'मेरे अंगने में तुम्हारा क्या काम.'
शास्त्री ने आगे कहा कि जिन्हें सनातन संस्कृति के बारे में पता हो, पूजा-पाठ और सामग्री की शुद्धता के बारे में पता हो, उन्हें ही यह कार्य दिया जाना चाहिए. जिन्हें इसके बारे में पता ही नहीं, वह निश्चित ही नाश ही करेंगे. इसलिए ग़ैर हिंदुओं का महाकुंभ में प्रवेश वर्जित कर देना चाहिए.
छत्तीसगढ़ के कवर्धा में बालाजी हनुमान मंदिर के भूमि पूजन के लिए कवर्धा पहुंचे पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने कहा कि राज्य के विकास और सनातन संस्कृति को बढ़ावा देने, भेदभाव को मिटाने के लिए और लोगों को अन्धविश्वास से बचाने के उद्देश्य से बागेश्वर बालाजी का मंदिर कवर्धा में बनाया जा रहा है. इस दौरान धीरेंद्र शास्त्री ने 'बंटोगे तो कटोगे' बयान पर भी अपनी प्रतिक्रिया दी.
अपने बयानों के लिए चर्चित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री ने कुछ महीने पहले बागेश्वर धाम में लगी दुकानों पर नेम प्लेट लगाने का फरमान भी जारी किया था. कथावाचक ने कहा था कि धाम की सभी दुकानों और होटलों के बाहर मालिक का नाम लगाना जरूरी है.
दरअसल, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड सरकार ने कांवड़ यात्रा मार्ग पर खाने-पीने के सामान का व्यवसाय करने वाले होटल, रेस्तरां, ढाबा, रेहड़ी-ठेली वालों को साइनबोर्ड लगाकर मालिक का नाम, पता और मोबाइल नंबर लिखने का आदेश दिया था.
इसी की देखादेखी अब मध्य प्रदेश में भी इस तरह के नियम बनाने की मांग की जा रही थी. इसी बीच धाम की समिति की बैठक में पीठाधीश्वर इस आदेश पर मुहर लगाई.
पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने एक बयान के बीच कहा था, हमें न राम से दिक्कत है और न रहमान से दिक्कत है, हमें कालनेमियों से दिक्कत है. इसलिए अपनी दुकान के बाहर नेम प्लेट टांग दो, जिससे आने वाले श्रद्धालुओं का धर्म और पवित्रता भ्रष्ट न हो. उन्होंने कहा था कि ये हमारी आज्ञा है कि बागेश्वर धाम के सभी दुकानदार 10 दिन के अंदर नेम प्लेट टंगवा लें, नहीं तो ध्यान समिति की ओर से कानून को साथ में लेकर विधिक कार्रवाई की जाएगी.