Advertisement

यमुना नदी में एक साल में 10 गुना बढ़ गया ये केमिकल, नियमों की अनदेखी कर बहाया जा रहा है कचरा

दिल्ली समेत कई शहरों के लोग प्रदूषण का दोहरा मार झेल रहे हैं, क्योंकि हवा के साथ पानी भी दूषित हो गया है. यमुना नदी के पानी में लगातार प्रदूषण का स्तर बढ़ रहा है, आदमी और जानवरों के अपशिष्ट बहाए जाने के कारण यमुना में फेकल कोलीफॉर्म की मात्रा दस गुना बढ़ गई है

यमुना में फेकल कोलीफॉर्म की मात्रा 10 गुना बढ़ी (फाइल फोटो) यमुना में फेकल कोलीफॉर्म की मात्रा 10 गुना बढ़ी (फाइल फोटो)
श्रेया चटर्जी
  • नई दिल्ली,
  • 04 नवंबर 2024,
  • अपडेटेड 2:36 PM IST

अपनी सांस्कृतिक, धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व के लिए प्रसिद्ध यमुना नदी के पानी में प्रदूषण का स्तर लगातार बढ़ता जा रहा है. कभी यमुना के पानी में झाग की परत नजर आती है, तो कभी नदी का पानी एकदम मलिन नजर आता है. इन दिनों यमुना के पानी में प्रदूषण का स्तर काफी बढ़ गया है और खतरे के निशान पर पहुंच गया है.

Advertisement

नदी के पानी में फेकल कोलीफॉर्म की मात्रा में एक साल में दस गुना की वृद्धि हुई है, जो इस बात का संकेत है कि नदी में आदमी और जानवरों के अपशिष्ट अधिक मात्रा में बहाए जा रहे हैं, इसी वजह से नदी के पानी में लगातार कोलीफॉर्म बैक्टीरिया का स्तर बढ़ता जा रहा है. फेकल कोलीफॉर्म के बढ़ने के कारण नदी का पानी काफी हानिकारक हो गया है, साथ ही पानी से दुर्गंध भी आने लगा है.

क्यों बढ़ रहा है नदी में फेकल कोलीफॉर्म 
यमुना नदी में लगातार बढ़ते फेकल कोलीफॉर्म का सबसे बड़ा कारण सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) का ठीक से काम नहीं करना है. पानी को साफ करने के लिए लगे ज्यादातर सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) अपने मानक से काफी नीचले स्तर पर काम कर रहे हैं. जिससे नदी में दूषित पानी सीधा चला जा रहा है. इसके अलावा पानी के दूषित होने का कारण बायोकेमिकल ऑक्सीजन डिमांड (BOD) का बढ़ता स्तर भी है.  BOD पानी में मौजूद कार्बनिक पदार्थों को तोड़ने के लिए ज़रूरी होता है.

Advertisement
2023 में फेकल कोलीफॉर्म की मात्रा

नियमों की अनदेखी कर बहाए जा रहे हैं अपशिष्ट
पर्यावरण कानून और कड़े नियमों के बावजूद भी जमीनी स्तर पर प्रबंधन इसे सही तरह से लागू नहीं करा पा रहा है.  तमाम कायदा कानूनों को ताक पर रख कर नदी में भारी मात्रा में अपशिष्ट बहाया जा रहा है. उद्योग कारखाने से निकलने वाला कचड़ा भी सीधा नदी में ही जाता है, जिस वजह से नदियों का पानी लगातार प्रदूषित हो रहा है.

2024 में यमुना में फेकल कोलीफॉर्म की मात्रा

यमुना का पानी दूषित होने से सबसे ज्यादा उन लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ता है, जो लोग इस पानी पर निर्भर हैं. यमुना नदी के किनारे देश के कई प्रमुख शहर बसे हैं, जिनमें दिल्ली, आगरा प्रयागराज शामिल हैं, इन तमाम शहरों यमुना का पानी लगातार दूषित होता जा रहा है.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement