
असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा ने एक बार फिर कांग्रेस पर हमला बोला है. सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टी पर निशाना साधते हुए असम सीएम मे गुरुवार को कहा कि, कांग्रेस केवल परिवार पर केंद्रित पार्टी है, जिसमें सारा एजेंडा सिर्फ एक परिवार के डाइनिंग रूम से तय होता है. PTI के मुताबिक, बारपेटा जिले के चकचका में पार्टी कार्यालय के उद्घाटन पर सीएम ने भाजपा कार्यकर्ताओं को संबोधित किया. इस दौरान उन्होंने कांग्रेस और भाजपा के बीच अंतर बताते हुए सरमा ने कहा कि कांग्रेस से उलट दूसरी ओर, भाजपा एक लोकतांत्रिक पार्टी है, जो उसके कार्यकर्ताओं द्वारा बनाई गई है.
डाइनिंग रूम में लिए जाते हैं कांग्रेस के फैसले
उन्होंने कहा कि कांग्रेस के फैसले एक परिवार के द्वारा डाइनिंग रूम में लिए जाते हैं और कार्यकर्ता केवल उन्हें फॉलो करते हैं. जैसी परिवार की जरूरत होती है, एजेंडा और विचारधार उसके ही अनुसार बदल दी जाती है. उन्होंने कहा, "भाजपा एक लोकतांत्रिक पार्टी है, जो अपने कार्यकर्ताओं द्वारा बनाई गई है. लेकिन अगर आप कांग्रेस या अन्य पार्टियों को देखें, तो ये कार्यकर्ताओं द्वारा नहीं बनाई गई हैं, बल्कि उनके नेताओं और परिवारों के आसपास केंद्रित हैं."
'सोनिया-राहुल के साथ टेबल शेयर करना अकल्पनीय'
गुवाहाटी में एक समारोह में पार्टी कार्यकर्ताओं को एक संबोधन में, सरमा ने दावा किया कि किसी कांग्रेस सदस्य के लिए, सोनिया गांधी या राहुल गांधी के साथ एक टेबल शेयर करना कल्पना से परे था. उन्होंने कहा कि आगामी लोकसभा चुनाव के बाद पार्टी एक क्षेत्रीय पार्टी बनकर रह जाएगी, साथ ही यह भी विश्वास जताया कि भाजपा के नेतृत्व वाला NDA आम चुनाव में 400 सीटें जीतेगा.
कांग्रेस का इतिहास बनना निश्चितः सीएम हिमंत बिस्वा सरमा
इसके साथ ही, असम सीएम ने कहा कि, कांग्रेस का इतिहास बनना निश्चित है. कांग्रेस विभिन्न क्षेत्रीय दलों में विभाजित हो जाएगी. इस चुनाव के बाद कांग्रेस की राष्ट्रीय स्थिति कम हो जाएगी क्योंकि एनडीए 400 से अधिक की जीत की ओर बढ़ रहा है. कोई विकल्प नहीं है. CONGRESS कार्यकर्ता पूरी तरह से हतोत्साहित होंगे. कोई राष्ट्रीय नेतृत्व नहीं होगा और कांग्रेस एक राज्य क्षेत्रीय संगठन में विभाजित हो जाएगी.
जब हिमंत बिस्व सरमा ने जॉइन की थी बीजेपी
कभी एक दौर में कांग्रेसी रह चुके असम के मुख्यमंत्री ने 2015 में बीजेपी में शामिल होने के बाद ओडिशा में भाजपा की पहली राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक के अपने अनुभव को याद किया. सरमा ने कहा कि वह और उनके पूर्व कांग्रेस सहयोगी और अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री पेमा खांडू अरुण जेटली, सुषमा स्वराज और धर्मेंद्र प्रधान सहित शीर्ष नेताओं को बिना किसी शोर-शराबे के सभी उपस्थित लोगों के साथ बैठे देखकर आश्चर्यचकित थे और बैठक में सभी लोगों सहित प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी उनके साथ खाना खाया.
'कार्यकर्ता के घर भोजन करना पसंद करते हैं शाह जैसे वरिष्ठ नेता'
सरमा ने कहा, "हमें बताया गया कि बीजेपी में इसी तरह काम होता है. कांग्रेस में, सोनिया गांधी के साथ एक ही टेबल पर या राहुल गांधी के बगल वाली कुर्सी पर बैठना, इस बारे में तो सोचा भी नहीं जा सकता है." पीटीआई के मुताबिक, सरमा ने कहा कि अमित शाह जैसे वरिष्ठ नेता को किसी "फैंसी होटल" के बजाय पार्टी कार्यकर्ता के घर में खाना खाने में "ज्यादा खुशी" होती है. उन्होंने कहा, "हमारा उद्देश्य देश के लिए 'परम वैभव' (समृद्धि) है. इसके साथ ही हमारा उद्देश्य परिवार-केंद्रित राजनीति को रोकना है, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि रेलवे स्टेशन पर चाय बेचने वाला भी प्रधानमंत्री बन सके."
बीजेपी में जो शीर्ष पर पहुंचे सभी अलग परिवारों से
उन्होंने भाजपा और कांग्रेस के बीच तुलना करते हुए कहा कि अमित शाह और नरेंद्र मोदी जैसे नेता बिना किसी पारिवारिक समर्थन या संरक्षण के शीर्ष पदों पर पहुंचे. उन्होंने कहा, "अन्य पार्टियों में कार्यकर्ता इतने ऊंचे पदों पर नहीं पहुंच सकते. कांग्रेस में पहले (जवाहरलाल) नेहरू थे, फिर इंदिरा (गांधी), फिर सोनिया, फिर राहुल, लेकिन भाजपा में, वाजपेयी, फिर आडवाणी, मोदी थे, शाह और नड्डा. उनमें से कोई भी एक परिवार से नहीं है.''