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राष्ट्रपति चुनाव: JD(S) करेगी द्रौपदी मुर्मू का समर्थन, पार्टी ने कहा- इस वजह से लिया फैसला

काशेमपुर ने कहा कि मुर्मू ने भाजपा के इस प्रतिष्ठित पद के लिए अपनी उम्मीदवारी की घोषणा के अगले ही दिन गौड़ा को फोन किया और उनका समर्थन मांगा.

द्रौपदी मुर्मू-फाइल फोटो द्रौपदी मुर्मू-फाइल फोटो
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 16 जुलाई 2022,
  • अपडेटेड 2:55 AM IST
  • 'आदिवासी महिला का राष्ट्रपति बनना गर्व की बात'
  • 'मुर्मू ने गौड़ा को फोन कर मांगा समर्थन'

JD(S) ने एनडीए की राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू को औपचारिक रूप से अपना समर्थन देने की घोषणा की. JD(S) के उप नेता बंदेप्पा काशेमपुर ने कहा कि विधानसभा सौधा में हुई JD(S) विधायक दल की बैठक में सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया. बैठक में पूर्व मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी, पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सी एम इब्राहिम और कुछ अन्य विधायक शामिल हुए. बंदेप्पा ने कहा कि एक आदिवासी महिला का देश की राष्ट्रपति बनना गर्व की बात है.

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'आदिवासी महिला का राष्ट्रपति बनना गर्व की बात'
उन्होंने कहा कि पार्टी सुप्रीमो एचडी देवेगौड़ा ने देश के पीएम रहते हुए महिला सशक्तिकरण के महत्व पर जोर दिया था. काशेमपुर ने कहा, 'एक आदिवासी महिला का देश की राष्ट्रपति बनना गर्व की बात है. राष्ट्रपति पद के लिए उम्मीदवार का चयन देवेगौड़ा की इच्छा के अनुसार होता है.'

'मुर्मू ने गौड़ा को फोन कर मांगा समर्थन'
जद (एस) विधायक ने कहा कि पार्टी ने उनकी (मुर्मू) पृष्ठभूमि और उनके समुदाय को ध्यान में रखते हुए समर्थन देने का फैसला किया. पार्टी से संबंध विचार का विषय नहीं है बल्कि उम्मीदवार की पृष्ठभूमि है. काशेमपुर ने कहा कि मुर्मू ने भाजपा के इस प्रतिष्ठित पद के लिए अपनी उम्मीदवारी की घोषणा के अगले ही दिन गौड़ा को फोन किया और उनका समर्थन मांगा. इसके अलावा, उन्होंने अपनी बेंगलुरु यात्रा के दौरान गौड़ा और कुमारस्वामी से मुलाकात की थी.

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इस बार का राष्ट्रपति चुनाव 18 जुलाई को है, जबकि मतगणना 21 जुलाई को दिल्ली में होगी. राष्ट्रपति चुनाव में सांसद हरी कलम से और विधायक गुलाबी रंग से अपनी वरीयता दर्ज करते हैं.

वोटिंग के लिए हर बूथ पर दो ट्रे होंगी एक द्रौपदी मुर्मू के नाम की और दूसरी यशवंत सिन्हा के नाम की. इस बार राष्ट्रपति चुनाव एक सांसद के वोट का तय मूल्य 700 चुनाव आयोग के द्वारा किया गया है, वहीं विधायकों के वोट का मूल्य अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग होता है.

राष्ट्रपति चुनाव का विजेता वह व्यक्ति नहीं होता जिसे सबसे अधिक मत प्राप्त होते हैं, बल्कि वह व्यक्ति होता है जिसे एक निश्चित कोटे से अधिक मत प्राप्त होते हैं. जिस उम्मीदवार को राष्ट्रपति चुनाव में तय मूल्य के अनुसार सबसे अधिक वोट प्राप्त होंगे.
 

 

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