
असम और मिजोरम (Assam-Mizoram) के बीच सीमा को लेकर चल रहे विवाद (Border Crisis) के बीच असम के सभी विधायकों ने सूबे के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा का समर्थन किया है. असम के सिलचर स्थित सर्किट हाउस में हुई सर्वदलीय बैठक में मिजोरम के साथ चल रहे सीमा विवाद को लेकर चर्चा की गई.
बराक घाट के विधायकों ने इस बैठक में सीएम के फैसले का समर्थन किया. बैठक में 15 में से 11 विधायक मौजूद थे. कछार के संरक्षक मंत्री अशोक सिंघल ने बताया कि विधायकों के साथ मिलकर यह फैसला लिया गया है कि हम राज्यसभा के चेयरमैन के पास जाएंगे. उनसे असम की सीमा से लग रहे मिजोरम के जिले के एक सांसद और एसपी की हिंसा में भूमिका को लेकर चर्चा की जाएगी. सभी पार्टियों के विधायकों ने इस बात का आश्वासन दिया कि वो सीएम के साथ मजबूती से खड़े हैं और लंबे समय से चला आ रहा यह सीमा विवाद हमेशा के लिए खत्म होना चाहिए और इसका स्थाई समाधान निकाला जाना चाहिए.
बता दें कि लंबे समय से सुलग रहा असम और मिजोरम के बीच सीमा विवाद 26 जुलाई को हिंसक हो गया. सीमा पर हुई झड़प में असम पुलिस के 6 जवान शहीद हो गए है, जबकि कई लोग घायल भी हुए. दोनों राज्यों के बीच काफी समय से सीमा को लेकर विवाद चल रहा है.
बता दें कि मिजोरम की सीमा असम के कछार और हाइलाकांडी जिलों से लगती है. यहां जमीन को लेकर दोनों सूबों के बीच आए दिन तनातनी होती रहती है. पहाड़ी इलाकों में कृषि के लिए जमीन बहुत कम है. इसीलिए जमीन के छोटे से टुकड़े की अहमियत बहुत बड़ी होती है. हालिया विवाद तब गंभीर हुआ जब असम की पुलिस ने अपना इलाका खाली कराने के लिए कुछ लोगों को खदेड़ा. असम पुलिस ने कहा कि ये लोग अतिक्रमणकारी थे.