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कहीं मां, कहीं चाचा, कहीं भाई... बेटियों को सबसे घिनौनी मंडी में बेच रहे परिवार, राजस्थान-MP से बड़ा खुलासा

आजतक की इन्वेस्टिगेशन टीम राजस्थान के तीन गांवों में पहुंची और इस सौदेबाजी को अपने कैमरे में रिकॉर्ड किया.  राजस्थान के इन गांवों में बेटियों की बोलियां लगाई जा रही हैं. इनकी सौदेबाजी हो रही है. बेटियों के इस बाजार में बिचौलियों की भरमार है. 

ऑपरेशन बेटी बाजार ऑपरेशन बेटी बाजार
मो. हिज्बुल्लाह/जयकिशन शर्मा
  • नई दिल्ली,
  • 28 सितंबर 2023,
  • अपडेटेड 2:17 PM IST

राजस्थान और मध्य प्रदेश में बेटियों की सौदेबाजी पर बड़ा खुलासा हुआ है. आजतक ने अपने स्टिंग ऑपरेशन 'बेटी बाजार' में कई चौंकाने वाले खुलासे किए हैं. इस स्टिंग ऑपरेशन में पता चला है कि राजस्थान और मध्य प्रदेश में रोजाना नाबालिग बच्चियों को जिस्मफरोशी के धंधे में धकेला जा रहा है.

आजतक की इन्वेस्टिगेशन टीम सबसे पहले राजस्थान के तीन गांवों में पहुंची और इस सौदेबाजी को अपने कैमरे में रिकॉर्ड किया. राजस्थान के इन गांवों में बेटियों की बोलियां लगाई जा रही हैं. इनकी सौदेबाजी हो रही है. बेटियों के इस बाजार में बिचौलियों की भरमार है. 

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देश में एक तरफ बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ का नारा दिया जाता है लेकिन देश के एक हिस्से में बेटियों को अंधाधुंध सौदा किया जा रहा है. बेटियों की सरेआम बोलियां लगाई जा रही हैं. आजतक की इन्वेस्टिगेशन टीम ने लड़कियों की तस्करी और वेश्यावृत्ति के डरावने सच को उजागर किया है. 

पहले बात करते हैं, राजस्थान के बूंदी जिले के एक गांव की. बूंदी का एक गांव रामनगर, जहां हर तरफ गरीबी है. यहां चंद रुपयों की खातिर लोग अपनी बेटियों को बेच रहे हैं. इस गांव में लाखन नाम का बिचौलिया बताता है कि गांव में बहुत सारी लड़किया हैं. कम से कम 50 से 60 लड़किया हैं. वह हमें लड़कियां दिखाने की बात करता है. रिपोर्टर से बिचौलिए की बातचीत के अंश यहां है:

बिचौलिया लाखन: लड़कियां चाहिए, हां भेज देंगे. बहुत सारी लड़कियां हैं गांव में... कम से कम 50 से 60 लड़किया हैं.

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लाखन: अभी चल सकते हैं, लड़कियां दिखा दूंगा आपको. जो पसंद आए बताना. लड़की के मां-बाप से बात कर लेंगे.

रिपोर्टर: लड़की की कितनी उम्र होगी?

लाखन: कम से कम 14 साल या 15 साल 

यह बिचौलिया लाखन इन नाबालिग लड़कियों की सौदेबाजी की हमसे बता करता है. वह कहता है कि वह बहुत आसानी से ये सब करवा देगा. कॉन्ट्रैक्ट के नाम पर खानापूर्ति करनी होगी. ये बताया जाएगा कि लड़कियों को होटल में नाच-गाने के लिए भेजा गया है.  

आजतक के इस स्टिंग ऑपरेशन में यह भी साफ हो गया कि किस तरह से बिचौलिए लड़कियों से वेश्यावृत्ति कराने के लिए आंखों में धूल झोंकते हैं. बकायदा बेटियों को बेचने के लिए मां-बाप कॉन्ट्रैक्ट करते हैं.

रिपोर्टर: आप लोग जब लड़कियों को भेजते हो तो लिखा-पढ़ी में क्या लिखते हो?

लाखन: हम यहां लिखते हैं कि लड़कियों को नाचने-गाने के लिए होटल में भेजा जा रहा है. 

रिपोर्टर: लेकिन ऐसा क्यों?

लाखन: अरे वो तो अपना बहाना है. अगर कोई पुलिस वाला देख ले या उसे शक हो जाए तो ऐसा बोलते हैं. 

लाखन: लड़कियों को जबरदस्ती थोड़े ही भेज रहे हैं. उनके मां-बाप से राय लेंगे. उनके मां-बाप को पैसे देगे. कोई ऐसी ही लड़कियों को उठाके थोड़े ही भेज देंगे.

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रिपोर्टर: तो लड़कियों को भेजने के लिए एग्रीमेंट क्या लड़की के मां-बाप करेंगे? 

लाखन: लड़की के मां-बाप करेंगे.

नाबालिग भतीजी को बेच रहा चाचा

अगले दिन आजतक की इन्वेस्टिगेशन टीम को जितेंद्र नाम का एक शख्स दो नाबालिग लड़कियां दिखाता है. रिश्ते में यह शख्स इन लड़कियों का चाचा है. यह शख्स एक नाबालिग लड़की की कीमत छह से सात लाख रुपये बताता है और एक साल कॉन्ट्रैक्ट की बात करता है. जितेंद्र और रिपोर्टर की बातचीत के अंश यहां है...

रिपोर्टर: क्या उम्र है?

लाखन: 15 या 16 साल होगी.

जितेंद्र: कोई दिक्कत की बात नहीं है, अदालत से नोटरी करवा लेना. एक साल के लिए रख लो. छह से सात लाख रुपये दे देना.

रिपोर्टर:  अच्छा, एक साल का छह से सात लाख रुपया. लड़की एक साल बाद वापस आ जाती है? 

जितेंद्र:  हां, आ जाती है. जैसे ही आपका टाइम पूरा हुा. लड़की घर आ गई. 

जितेंद्र: एक साल बाद दूसरी लड़की खरीद देंगे. एक साल में विश्वास हो ही जाएगा. आप जितनी बोलोगे, उतनी भिजवा देंगे. 

इसके बाद अगला पड़ाव राजस्थान के सवाई माधोपुर का अदलवाड़ा गांव है. यहां बेटियों को बिचौलिए या रिश्तेदार नहीं बल्कि उनके मां-बाप की उनकी बोलियां लगाते हैं. अपनी दो बेटियों को बेचने का जुगाड़ कर रही तनो एक बेटी के एवज में तीन लाख रुपये मांगती है. 

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मकान बनवाने के लिए मां बेच रही बेटी

तनो: मेरी दो बेटी है. एक ये है और एक मुंबई में रहती है

रिपोर्टर: अच्छा आपकी दो बेटी हैं. आपकी अपनी बेटी है या खरीदी हुई है?

तनो: नहीं मेरी खुद की है.  ये मेरी मजबूरी है इसलिए भेज रही हूं. मकान बनवाऊंगी इसलिए बेच रही हूं. 

रिपोर्टर: अच्छा मकान बनवाना है इसलिए भेज रही हैं?

तनो: आप तीन लाख रुपये में लेकर जाओ लड़की?

आजतक की टीम अब पहुंचती है राजस्थान के टोंक जिले के जयसिंहपुरा गांव. यहां एक नाबालिग लड़की का मामा रवि अधेड़ उम्र का शख्स है. वह अपनी भांजी की कीमत एक लाख 70 हजार रुपये बताता है और उसे बेचने के लिए राजी हो जाता है.

रवि: ये मेरी बहन की लड़की है

रिपोर्टर: अच्छा आपकी बहन की लड़की है. आप मामा हैं इसके?

रवि: हां

रिपोर्टर: तो क्या उम्र हैं इन लड़कियों की?

रवि: इनकी उम्र होगी 17 से 18 साल

रवि: ये कम से कम एक सत्तर से कम में नहीं (एक लाख सत्तर हजार)

रिपोर्टर: आप कह रहे हैं कि एक लड़की का एक लाख सत्तर हजार देना पड़ेगा

रवि: हां एक महीने का देना पड़ेगा

रिपोर्टर: और एग्रीमेंट कितने साल का होगा?

रवि: आप बताओ एग्रीमेंट का. उसका आधा पेमेंट हम लेंगे.

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राजस्थान की तरह मध्य प्रदेश में भी बेटियों की इसी तरह सौदेबाजी की जा रही है. आजतक के स्टिंग ऑपरेशन में मध्य प्रदेश के भी कई गांवों में इस गोरखधंधे की पोल खुली.  मध्य प्रदेश के बोरखेड़ी गांव में विजय नाम का एक शख्स अपनी ही बहन की सौदेबाजी कर रहा है. विजय ने एक महीने के लिए अपनी 16 साल की बहन का सौदा करने की बात की. इसके लिए उसने तीन लाख रुपये की डिमांड रखी.  

रिपोर्टर: कितने साल की है लड़की?

विजय: 16 साल. बिना नखरे दिखाए, जो बोलोगे वो करेगी. 

विजय: इसे या तो एक दिन में चार क्लाइंट के पास भेजता हूं या फिर एक क्लाइंट को पूरी रात के लिए.

रिपोर्टर: एग्रीमेंट कैसे होगा?

विजय: स्टैम्प पेपर पर

रिपोर्टर: एग्रीमेंट पर साइन कौन करेगा

विजय: मैं करूंगा. लड़की का नाम एग्रीमेंट पर नहीं होगा. सिर्फ मेरा और तुम्हारा होगा.

रिपोर्टर: ये एग्रीमेंट किस तरह का होगा.

विजय: इस एग्रीमेंट में लिखा होगा कि आपने मुझसे पैसे उधार लिए हैं. अगर एक साल के लिए लड़की लोगे तो एक साल लिखा होगा.

विजय: एक दिन के 10,000 रुपये के हिसाब से चार्ज लगेगा.

रिपोर्टर: इसका मतलब हुआ कि एक महीने के तीन लाख रुपये.

विजय: हां.

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इसी तरह मध्य प्रदेश के बरदिया गांव में भी बेटियों के दलला बबलू से हमारी बात हुई. बबलू ने बताया कि वह अपने परिवार की लड़कियों का सौदा करने को तैयार है. लड़कियों की उम्र 15 साल के आसपास है. बबलू ने बताया कि 15 नाबालिग लड़कियां मौजूद हैं लेकिन फिलहाल पांच ही सौदे के लिए तैयार हैं. 

मध्य प्रदेश के रतलाम जिले के पिपलिया जोधा गांव में किरन उर्फ नेहा दो लाख रुपये में अपनी भतीजी को बेचने के लिए तैयार हो गई. 

किरण: ये मेरी बहन की बेटी है. 

रिपोर्टर: पैसे किसे देना है. तुम्हें या लड़की के मां-बाप को.

किरण:  मैं पेमेंट लूंगी.

रिपोर्टर:  कितने

किरण:  दो लाख रुपये.

रिपोर्टर:  अगर लड़की के माता-पिता ने विरोध किया तो

किरण:  कुछ नहीं होगा

रिपोर्टर:  एग्रीमेंट कैसे होगा. स्टैम्प पेपर पर या कोरे कागज पर

किरण:  स्टैम्प पेपर पर

इस स्टिंग पर अब राज्यसभा एमपी और सीनियर भाजपा नेता किरोड़ी लाल मीणा की प्रतिक्रिया भी आई है. उन्होंने कहा है कि यह स्टिंग ऑपरेशन शत प्रतिशत सत्य है. गुजरात और एमपी बॉर्डर में ये ह्यूमन ट्रैफिकिंग के मामले आते हैं. सरकार की तरफ से कोई गंभीरता नहीं दिखाई जा रही. मैं पहले भी बच्चियों को लेकर कलेक्टर के पास गया था. पहले भी यह मुद्दा था पर पिछले चार साल में मामले बढ़ गए हैं.

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मानवाधिकार संगठन पीपुल्स यूनियन फॉर सिविल लिबर्टीज (पीयूसीएल) ने कहा कि हमने बेटी बाजार ऑपरेशन पर संज्ञान लेगा. हम इस संबंध में सरकार को लिखेंगे. दरअसल आंकड़ों से मानव तस्करी रैकेट की वास्तविकता का पता नहीं चलता. राजस्थान के इन जिलों में मानव तस्करी रोधी दस्तों को मुस्तैदी से काम करना चाहिए. इस स्टिंग से पता चला है कि मानव तस्कर असल में परिजन और रिश्तेदार ही हैं. इन पर पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज होना चाहिए.

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