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वैश्विक नेताओं से क्यों कराते हैं गंगा आरती? नामांकन से ठीक पहले इंटरव्यू में PM मोदी ने बताया

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आजतक को दिए इंटरव्यू में कहा कि मैंने G20 में एक प्रयोग किया था. मैंने तय किया था कि मैं G20 को मोदी तक सीमित नहीं रखूंगा. मैं G20 को दिल्ली तक सीमित नहीं रखूंगा. हमने G20 की देश के अलग-अलग स्थानों पर 200 मीटिंग की. उसका परिणाम ये हुआ कि G20 का काम तो हुआ लेकिन वैश्विक नेताओं को देश की विविधता के बारे में भी पता चला.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
चित्रा त्रिपाठी
  • नई दिल्ली,
  • 14 मई 2024,
  • अपडेटेड 10:17 PM IST

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार को लगातार तीसरी बार वाराणसी से नामांकन करने जा रहे हैं. नामांकन से पहले पीएम मोदी ने आजतक को दिए एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में वाराणसी, लोकसभा चुनाव और मां गंगा के महत्व सहित कई मुद्दों पर बातचीत की. 

पीएम मोदी ने कहा कि अगर मैं कमर्शियल या फाइनेंशियल माइंड से सोचूं तो ये देश 140 करोड़ का मार्केट है, जो गंगा स्नान के लिए जाना चाहता है, चारधाम जाना चाहता है, द्वादश ज्योतिर्लिंग जाना चाहता है और जो अष्टगणेश की पूजा करना चाहता है. ऐसे में मैंने इसमें इकोनॉमी भी देखी है और भविष्य भी देखा है. जब आप अपनी चीजों का गौरव या सम्मान करते हैं तो सारी दुनिया भी आपका सम्मान करती है.

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पीएम मोदी वैश्विक नेताओं से क्यों कराते हैं गंगा आरती?

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मैंने G20 में एक प्रयोग किया था. मैंने तय किया था कि मैं G20 को मोदी तक सीमित नहीं रखूंगा. मैं G20 को दिल्ली तक सीमित नहीं रखूंगा. हमने G20 की देश के अलग-अलग स्थानों पर 200 मीटिंग की. उसका परिणाम ये हुआ कि G20 का काम तो हुआ लेकिन वैश्विक नेताओं को देश की विविधता के बारे में भी पता चला.

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पीएम मोदी ने कहा कि जी20 के दौरान दुनियाभर के तकरीबन एक लाख लोग भारत आए थे. ये लोग दुनिया के महत्वपूर्ण देशों की निर्णय प्रक्रिया में महत्व रखने वाले लोग थे. इन लोगों ने सारा देश देखा. उन्हें पता लगा कि ये देश इतना बड़ा और विविधताओं से भरा हुआ है. तो इस तरह मैंने अपने देश की ब्रांडिंग के लिए G20 का उपयोग किया.

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उन्होंने कहा कि दुनिया का कोई भी नेता आता है, मैं उनसे गंगा आरती करवाता हूं. मैं ऐसा करके उनका हिंदूकरण नहीं कर रहा हूं. मैं उनको प्रकृति के प्रति हमारा प्यार क्या है, हम प्रकृति के प्रति कितने समर्पित हैं, ये दर्शाता हूं. हम प्रकृति का विनाश करने वाले लोग नहीं हैं. हम प्रकृति का संरक्षण करने वाले लोग हैं. दुनिया ग्लोबल वॉर्मिंग की चिंता करती है लेकिन मैं उनको गंगा आरती करके दिखाता हूं कि ग्लोबल वॉर्मिंग का समाधान प्रकृति के प्रति भक्ति में है. 

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400 पार नारा नहीं जनता का संकल्प है

प्रधानमंत्री मोदी ने लोकसभा चुनाव में जीत की संभावना से जुड़े सवाल पर कहा कि हम 400 पार के लक्ष्य को लेकर चल रहे हैं. ये 400 पार देश की भावना है. परमात्मा ने मुझे भेजा है. परमात्मा ने मुझसे काम लेना तय किया है. पुरुषार्थ देने की दिशा भी परमात्मा देता है. ये सब ऊपर वाले की कृपा है. 400 पार कोई नारा नहीं है. ये इस देश के 140 करोड़ देशवासियों का संकल्प है.

'देशवासियों को ईश्वर मानता हूं'

पीएम का कहना था कि शायद परमात्मा ने स्वयं मुझे किसी काम के लिए भेजा है. परमात्मा ने भारतभूमि के लिए मुझे चुना और एक प्रकार से मैं सारे संबंधों से विरक्त होकर हर काम को परमात्मा की पूजा समझकर करता हूं. मैं 140 करोड़ देशवासियों को ईश्वर का रूप मानता हूं. परमात्मा ने मुझे जितना जीवन दिया है, उसका एक-एक क्षण और शरीर का एक-एक कण सिर्फ और सिर्फ मां भारती के लिए है.

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