
राजीव गांधी हत्याकांड में दोषी नलिनी श्रीहरन को आज जेल से रिहा कर दिया गया. सुप्रीम कोर्ट ने हत्याकांड में शामिल छह दोषियों की रिहाई पर मुहर लगाई थी, जिसका अब शनिवार को पालन हुआ है. हत्याकांड में सजा काट रही दोषी नलिनी श्रीहरन की वेल्लोर जेल से बाहर आने की तस्वीरें भी सामने आई हैं. तीस साल बाद जेल से उनकी रिहाई हुई. नलिनी के साथ-साथ इस केस में उनके पति मुरुगन समेत संथन, रॉबर्ट पायस और आरपी रविचंद्रन सजा काट रहे थे. उनको भी छोड़ा जाएगा.
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को इन छह दोषियों की रिहाई का आदेश दिया था. ये सभी पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के केस में उम्रकैद की सजा काट रहे थे. राजीव को 1991 में तमिलनाडु के श्रीपेरुमबुदुर में एक चुनावी रैली के दौरान बम से उड़ा दिया गया था.
जेल से रिहा होने के बाद नलिनी ने मीडिया से बात भी की. वह बोलीं कि पिछले 32 सालों में जिन तमिलनाडु वासियों ने उनका सपोर्ट किया है वह उन सबका शुक्रिया करती हैं. उन्होंने केंद्र और राज्य सरकार का भी शुक्रिया किया. वहीं नलिनी के छोटे भाई बग्यानाथन ने कहा कि बहन के बाहर आने की उनको बहुत खुशी है. वह बोले उनको इस चमत्कार की उम्मीद नहीं थी.
सुप्रीम कोर्ट ने किन तर्कों पर दिया रिहाई का आदेश?
उच्चतम न्यायालय की बेंच ने माना कि दोषियों ने 30 साल से ज्यादा का वक्त जेल में काटा है और सजा के दौरान उनका बर्ताव ठीक था. इसी केस में सुप्रीम कोर्ट ने अन्य दोषी ए जी पेरारिवलन (A G Perarivalan) को पहले ही रिहा कर दिया था. वह भी उम्रकैद की ही सजा काट रहे थे.
वैसे राजीव हत्याकांड में इन लोगों को दोषी ठहराते हुए सजा ए मौत की सजा सुनाई थी. 2001 में सुप्रीम कोर्ट ने इस सजा को सही भी ठहराया था. लेकिन 2001 में नलिनी की मौत की सजा को उम्रकैद में बदल दिया गया. उनकी एक बेटी है, इस दलील पर कोर्ट ने यह फैसला दिया था. बाद में पेरारीवलन, संथन और मुरुगन की सजा ए मौत को भी उम्रकैद में बदल दिया गया था.