
शादियों में दूल्हे-दुल्हन की एंट्री और विदाई के आए दिन सामने आ रहे अलग-अलग तरीकों के बीच मध्यप्रदेश के श्योपुर में भी एक दुल्हन की अनोखी विदाई चर्चा का विषय बनी हुई है. यहां एक किसान पिता ने अपनी बेटी की इच्छा पूरी करने के लिए बारात को नाव में बैठाकर विदा किया. पिता ने बेटी-दामाद के साथ 50 के करीब बारातियों को जलमार्ग की यात्रा कराने के लिए इंजन वाली तीन नाव बुलवाईं, जिनसे बारात को 12 किलोमीटर लंबा सफर तय कराया गया. अपनी इच्छा पूरी होती देख दुल्हन नाव में सफर के दौरान धार्मिक भजन पर थिरकने लग गई. यह बारात राजस्थान के सवाई माधोपुर जिले स्थित खंडार तहसील के पादड़ा गांव से विदा होकर श्योपुर (मध्य प्रदेश) के सोंईकलां आई.
दरअसल, राजस्थान के पादड़ा गांव निवासी घनश्याम मीणा की बेटी किस्मत ने बचपन में हेलीकाप्टर से दुल्हन लेकर आने की खबरें देखी थीं. किस्मत ने अपने किसान पिता से इच्छा जाहिर की थी कि उसकी शादी सबसे खास होनी चाहिए. इसके लिए उसकी विदाई नाव से करना. किसान पिता ने इस चाह को न सिर्फ याद रखा, बल्कि उसे पूरा करने के लिए बेटी और दामाद समेत 50 बारातियों को तीन नावों में बिठाकर विदा किया. देखें Video:-
किस्मत का रिश्ता श्योपुर जिला मुख्यालय से सटे हुए सोंईकलां कस्बे में सरपंच हरिसिंह मीणा के बेटे आकाश संग तय हुआ था. दो दिन पहले ही राजस्थान के पादड़ा गांव में रीति-रिवाज के साथ दोनों की शादी हुई. दूल्हा के पिता और रिश्तेदार लग्जरी गाड़ियों में सवार होकर दुल्हन के घर पहुंचे.
बीते गुरुवार को जब विदाई का समय हुआ तो किस्मत के पिता ने दूल्हे के पिता से कहा, मेरी बेटी की इच्छा पूरी करने के लिए मैं चाहता हूं कि बारात नाव से विदा हो. दूल्हे का पिता भी राजी हो गया. फिर सभी लोग प्राचीन चतुर्भुज नाथ मंदिर पर आए जहां से तीन नावों के द्वारा करीब 50 बाराती, दूल्हा और दुल्हन विदा हुए.
अपना सपना पूरा होता देख दुल्हन बनी किस्मत भी खुशी से झूम उठी और बारातियों के लिए यह किसी शानदार एडवेंचर टूर से कम नहीं था. इसलिए वह भी बेहद खुश नजर आए. अब नाव में आई बारात चर्चा जिलेभर में हो रही है.