
त्रिपुरा के सिपाहीजला जिले में मानव तस्करी के आरोप में तीन बांग्लादेशी लड़कियों और दो भारतीय नागरिकों को गिरफ्तार किया गया है. पुलिस ने गुरुवार को इसकी जानकारी दी है.
पुलिस के अनुसार, तीनों बांग्लादेशी लड़कियों को बुधवार को भवानीपुर और कलिकृष्णानगर क्षेत्र से पकड़ा गया, जबकि दो भारतीय नागरिकों को गुरुवार को कलिकृष्णानगर से गिरफ्तार किया गया है.
पुलिस को एक गुप्त सूचना मिली थी कि भारत-बांग्लादेश सीमा के पास एक संदिग्ध लड़की देखी गई है. इस सूचना पर कार्रवाई करते हुए बुधवार को भवानीपुर से स्वप्ना अख्तर नामक एक लड़की को हिरासत में लिया गया. स्वप्ना ढाका की निवासी है और उसने खुद को भारतीय नागरिक बताया और फर्जी आधार कार्ड दिखाया. इसी वजह से उसे भारतीय सीमा में अवैध रूप से घुसने के आरोप में गिरफ्तार किया गया.
अगले दिन, दो और लड़कियों - मिम (20) और रिया अख्तर (18) को कलिकृष्णानगर से गिरफ्तार किया गया. ये दोनों लड़कियां भी ढाका की रहने वाली थीं. पूछताछ के दौरान उन्होंने स्वीकार किया कि वे तीन दिन पहले भारत में घुसी थीं और कलिकृष्णानगर में अवेशा बेगम के घर में शरण ली थी.
लड़कियों ने बताया कि अबुल कलाम नामक व्यक्ति ने उन्हें भारत में प्रवेश करने में मदद की और उन्हें अपनी सास के घर पर छिपा दिया. जांच के दौरान पुलिस ने पाया कि अबुल कलाम और उसकी सास इस तस्करी में सीधे तौर पर शामिल थे.
पुलिस ने अबुल कलाम और उसकी सास के खिलाफ मामला दर्ज कर उन्हें भी गिरफ्तार कर लिया है. इस मामले की गहन जांच शुरू कर दी गई है. मानव तस्करी के इस नेटवर्क में अन्य लोगों की संलिप्तता की भी जांच की जा रही है. पुलिस का कहना है कि यह मामला भारत-बांग्लादेश सीमा पर सक्रिय तस्करों के नेटवर्क से जुड़ा हो सकता है, और इसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है.