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त्रिपुरा: सोशल मीडिया पर शेयर किए भड़काऊ पोस्ट, 102 लोगों के खिलाफ शिकायत

ये सभी वो अकाउंट हैं जिनके जरिए भड़काऊ बयान दिए गए थे. ऐसे बयान जो दंगों को भड़का सकते थे. पुलिस के मुताबिक कुछ अकाउंट पर पुरानी या फिर गलत वीडियो शेयर किए गए हैं, ऐसी तस्वीरें भी साझा हुई हैं जो दो धर्मों के लोगों के बीच दुश्मनी की खाई खड़ी कर सकती हैं.

पुलिस ने ट्विटर से 68 अकाउंट बंद करने की अपील की पुलिस ने ट्विटर से 68 अकाउंट बंद करने की अपील की
इंद्रजीत कुंडू
  • कोलकाता,
  • 06 नवंबर 2021,
  • अपडेटेड 6:44 PM IST
  • त्रिपुरा में माहौल खराब करने की साजिश
  • 102 लोगों के खिलाफ शिकायत

त्रिपुरा में इस समय तनावपूर्ण माहौल देखने को मिल रहा है. जब से बांग्लादेश में हिंदू मंदिरों पर हमला हुआ है, त्रिपुरा के कुछ क्षेत्रों में सांप्रदायिक हिंसा देखने को मिली है. वहां पर मुस्लिम समाज के कुछ लोगों का आरोप है कि उन्हें निशाना बनाया जा रहा है. अब इन्हीं पहलुओं को ध्यान में रखते हुए त्रिपुरा पुलिस ने बड़ा एक्शन लिया है. उन 102 लोगों के खिलाफ शिकायत दर्ज की गई है जिन्होंने सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट शेयर किए थे. इससे पहले ट्विटर को पत्र लिख 68 अकाउंट बंद करने की अपील भी हुई थी.

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त्रिपुरा में हिंसा, पुलिस का एक्शन

ये सभी वो अकाउंट हैं जिनके जरिए भड़काऊ बयान दिए गए थे. ऐसे बयान जो दंगों को भड़का सकते थे. पुलिस के मुताबिक कुछ अकाउंट पर पुरानी या फिर गलत वीडियो शेयर किए गए हैं, ऐसी तस्वीरें भी साझा हुई हैं जो दो धर्मों के लोगों के बीच दुश्मनी की खाई खड़ी कर सकती हैं. ऐसे में त्रिपुरा पुलिस ने इन विवादित अकाउंट को तुरंत बंद करने की बात कही है. ट्विटर को पत्र लिख दिया गया है और उनकी तरफ से किसी जवाब का इंतजार है.

वैसे अब त्रिपुरा पुलिस ने सिर्फ ट्विटर से अकाउंट बंद करने को नहीं कहा है बल्कि उन तमाम यूजर्स की डिटेल भी मांगी है जिनके जरिए ये विवादित पोस्ट किए गए थे. यूसर आइडी से लेकर मोबाइल नंबर तक, हर डिटेल जानने का प्रयास है. अब ट्विटर ये उपलब्ध करवाता है या नहीं, आने वाले कुछ दिनों में साफ हो जाएगा.

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सुप्रीम कोर्ट के वकीलों पर केस

इस सब के अलावा चार सुप्रीम कोर्ट के वकीलों के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया है. उन पर भी सोशल मीडिया पर भड़काऊ बयान देने का आरोप है. उन सभी के खिलाफ  IPC की धारा 153 (a) और 153 (b) के तहत शिकायत दर्ज की गई है.  469, 504, 120 जैसी धाराएं भी लगा दी गई हैं. अब अगर UAPA के तहत कार्रवाई हो गई, तो सात साल तक जेल में रहना पड़ सकता है. अभी के लिए चारों वकीलों को 10 नवंबर से पहले पलुिस के सामने पेश होना है. वहीं सभी सोशल मीडिया पोस्ट डिलीट करने के भी निर्देश दिए गए हैं.

क्या है पूरा मामला?

जानकारी के लिए बता दें कि त्रिपुरा में हुई सांप्रदायिक हिंसा को बांग्लादेश हिंसा से जोड़कर देखा जा रहा है. अब क्योंकि बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों पर हमला हुआ था, ऐसे में उसका असर त्रिपुरा में भी देखने को मिल रहा है. जिस प्रकार के वीडियो वायरल करवाए जा रहे हैं, उनकी वजह से दो समुदायों के बीच तनाव की स्थिति बनी हुई है. पुलिस ने स्थिति को काबू में जरूर किया है, लेकिन हिंसा भड़कने का डर बना हुआ है. उसी वजह से अब उन लोगों पर एक्शन की तैयारी है जिनकी वजह से ये माहौल खराब हुआ है.

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