नूंह हिंसा पर वो सवाल जिनके जवाब पुलिस के पास नहीं,संसद में आज क्या हुआ,चीतों की मौत के जिम्मेदार कौन और नितिन देसाई ने क्यों की खुदकुशी?सुनिए ‘दिन भर’ में.
नूंह हिंसा को 48 घंटे से ज़्यादा बीत गए मगर असर बाकी है. दिन भर दिल्ली-नोएडा, राजस्थान, मध्यप्रदेश के इलाकों में बजरंग दल और विश्व हिन्दू परिषद प्रदर्शन करते रहे. कहीं हनुमान चालीसा का पाठ हुआ तो कहीं हरियाणा सरकार मुर्दाबाद के नारे.
उधर हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के एक बयान ने सुर्खियां बना दी. उन्होंने हरियाणा की आबादी का जिक्र करते हुए कहा कि आबादी के हिसाब से पुलिसवाले बहुत कम हैं. ऐसे में पुलिस सबकी सुरक्षा नहीं कर सकती. इस बीच केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत ने पीएम मोदी से मिलकर पूरी घटना की जानकारी दी है. तो थ्योरीज़, बयानों, प्रदर्शनों के बीच 48 घंटे बीत गए हैं मगर पुलिस के पास बहुत से सवालों के जवाब नहीं हैं. आज डीजीपी हरियाणा पीके अग्रवाल पहली बार इस घटना के बाद मीडिया से मुखातिब हुए. एक और नाम जो बार बार नूंह हिंसा से जोड़ा गया वो मोनू मानेसर का है. हालांकि हरियाणा पुलिस से लेकर मुख्यमंत्री तक इस थ्योरी को खारिज कर रहे हैं. आजतक रेडियो रिपोर्टर अनमोल बाली आज भी पूरा दिन नूंह में मौजूद रहे, हमने उनसे बात की, सुनिए ‘दिन भर’ में.
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इस साल का मॉनसून सेशन किसी इंडियन टीवी सीरियल से कम नहीं लग रहा। शोर शराबे हंगामे एक्शन से भरपूर है. रोज़ वक्त से पहले लोकसभा- राज्यसभा स्थगित हो जाती हैं. और आज तो लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला ने अपनी कुर्सी पर बैठने से ही इंकार कर दिया।
20 जुलाई से शुरू हुए इस मॉनसून सत्र में सरकार का टार्गेट था 31 बिल्स पेश और पास करना। और क्योंकि सरकार के पास बहुमत भी है, तो ये काम उनके लिए ज्यादा चुनौतीपूर्ण भी नहीं था। लेकिन सदन में विपक्षी पार्टियां मणिपुर के मुद्दे पर लगातार प्रदर्शन कर रही हैं। राज्यसभा में विपक्षी दलों ने मणिपुर हिंसा पर चर्चा की मांग करते हुए 60 नोटिस दिए हैं, सभापति जगदीप धनखड़ ने सारे अस्वीकार कर दिए। इससे नाराज होकर विपक्ष ने राज्यसभा से आज वॉकआउट कर दिया। वहीँ दिल्ली सर्विसेज बिल को लेकर भी पार्टियों के बीच हर दिन मौसम बदल रहा है। एक तरफ आम आदमी पार्टी अपने साथ विपक्ष को जोड़ने की कोशिश कर रही है तो दूसरी तरफ बीजू जनता दल ने अपना समर्थन सरकार को दे दिया. तो आज संसद की हाईलाइट्स क्या रहीं, सुनिए ‘दिन भर’ में.
‘हमारे लिए बेलारूस एक संघ का हिस्सा है, यानी जिसमें रुस और बेलारुस हैं और बेलारुस पर आक्रमण का मतलब होगा रूस पर हमला। इसका जवाब हम अपने पास मौजूद सारे साधनों से देंगे।’
ये बयान रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का है। बयान क्या चेतावनी समझिए.. पोलैंड और नाटो देशों के लिए। आज पोलैंड ने बेलारुस पर आरोप लगाया कि उनके आर्मी हेलीकॉप्टर सीमा पार करके घुस आए. बेलारुस ने पहले तो आरोप नकार दिए मगर फिर कहा कि वो सैन्य अभ्यास कर रहे थे जिसकी सूचना पोलैंड को पहले से दी गई थी। लेकिन पोलैंड ने इस घटना के तुरंत बाद बेलारुस और अपनी सीमा पर आर्मी तैनात कर दी। इस सारी घटना के बाद रूस के राष्ट्रपति का बयान सामने आया। ये समझने के लिए कि पोलैंड और बेलारूस में पहले से कोई रंजिश रही है या ये रूस-अमेरिका की खींचतान का असर है, सुनिए ‘दिन भर’ में.
प्रोजेक्ट चीता के तहत 20 चीते नामीबिया और साउथ अफ्रीका से भारत लाए गए थे. आज इस प्रोजेक्ट से जुड़ी बुरी खबर आई. 5 महीने में 9 वें चीते की मौत रिपोर्ट हुई है. कारण अब भी नामालूम है.दूसरी ओर मामला सुप्रीम कोर्ट में है, और वहां से भी अहम बात निकलकर आई. चीतों की मौत पर दक्षिण अफ्रीका और नामीबिया के एक्सपर्ट्स ने सुप्रीम कोर्ट को पत्र लिखा है. उन्होंने आरोप लगाया कि भारतीय अधिकारियों ने उन्हें चीतों के ट्रांसफर के मामले में अंधेरे में रखा. उनका कहना है कि चीतों की देखरेख में अगर लापरवाही न बरती जाती तो वो बच सकते थे. ये विदेशी एक्सपर्ट्स 'नेशनल चीता प्रोजेक्ट स्टीयरिंग कमेटी' के मेंबर हैं, इनकी देखरेख में ही विदेशों से 20 चीते भारत में लाए गए थे. आज जिस चीते की मौत हुई है उस बारे में अब तक क्या जानकारी दी है प्रशासन ने, सुनिए ‘दिन भर’ में.
आपने देवदास,लगान और जोधा अकबर इनमें से कोई एक फिल्म तो देखी ही होगी. इन मशहूर फिल्मों के सेट डिजाइन कर चुके आर्ट डायरेक्टर नितिन देसाई ने खुदकुशी कर ली.देसाई इसी 9 अगस्त को अठावन साल के होने वाले थे. उनकी आत्महत्या का कारण पैसों की तंगी कही जा रही है. महाराष्ट्र में कर्जत के एमएलए महेश बाल्दी ने आजतक से बातचीत में कहा कि नितिन देसाई मेरे विधानसभा क्षेत्र में आते थे. वो काफी दिनों से आर्थिक तंगी से जूझ रहे थे.लेकिन अफसोस हम उन्हें बचा नहीं सके. देसाई की खुदकुशी के बारे में अब तक क्या जानकारी दी है पुलिस ने? सुनिए ‘दिन भर’ में.