कांग्रेस का नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और एनआरसी के खिलाफ राजघाट पर सत्याग्रह जारी है. इस सत्याग्रह में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, पूर्व पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी और पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी समेत समेत तमाम नेता शामिल हुए. प्रियंका गांधी ने सत्याग्रह के मंच से कहा कि नागरिकता कानून के खिलाफ आंदोलन में शहीद होने वाले बच्चों के लिए संकल्प लें.
प्रियंका ने कहा, 'संकल्प लें, बिजनौर के 22 साल के बच्चे अनस के नाम, जो
अपने परिवार के लिए कॉफी की मशीन चलाकर कमाता था, जिसकी कुछ समय पहले ही
शादी हुई थी, वहां के 21 साल के सुलेमान के नाम, जो यूपीएससी के लिए पढ़ाई
कर रहा था, जिसकी मां ने कल शाम मुझसे कहा- मेरा बेटा वतन के लिए शहीद हुआ
है. उन सभी बच्चों के नाम जो इस आंदोलन में शहीद हुए हैं. बिजनौर के ओमराज
सैनी के नाम, जिसके 5 बच्चे अभी भी उनका घर पर इंतजार कर रहे हैं, वो
अस्पताल में घायल हैं. उन सबके नाम आज हम संकल्प करें कि हम इस संविधान की
रक्षा करेंगे, इस संविधान को नष्ट नहीं होने देंगे.' इसके बाद उन्होंने
संविधान की प्रस्तावना पढ़ी.
कांग्रेस नेता अहमद पटेल ने कहा कि आज ऐसे लोग सत्ता में हैं जो आजादी की लड़ाई में कहीं भी नहीं थे. आज राष्ट्र, लोकतंत्र और संविधान खतरे में है और युवाओं ने इसके खिलाफ आवाज उठाई है. इसके बाद उन्होंने संविधान की प्रस्तावना पढ़ी.
पूर्व स्पीकर मीरा कुमार ने भी संविधान की प्रस्तावना पढ़ी. उन्होंने कहा कि इस देश को आजाद कराने के लिए गरीबों और दलितों ने कुर्बानी दी थी. लेकिन उस समय किसी ने उनसे नागरिकता नहीं पूछी थी, आज ऐसा क्या हो गया है कि उनसे उनकी नागरिकता पूछी जा रही है. आज जो नागरिकता पूछ रहे हैं वो कुर्बानी देने के समय नदारद थे. मीरा कुमार ने कहा कि संविधान को गांधी जी और नेहरू जी ने बनाया है. कांग्रेस की आत्मा ने बनाया है, हम इस पर आंच नहीं आने देंगे.
छत्तीसगढ़ सरकार में मंत्री टीएस सिंहदेव भी राजघाट पर आयोजित कांग्रेस के सत्याग्रह में शामिल हुए. उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की तरफ से मैं कहता हूं कि छत्तीसगढ़ में सीएए और एनआरसी लागू नहीं होगा.
महाराष्ट्र के कांग्रेस नेता बाला साहेब थोराट ने कहा महाराष्ट्र संतों की भूमि है, जहां शिवाजी से लेकर अंबेडकर तक महानायक हुए. महाराष्ट्र ने कभी धर्म के नाम पर बांटने का समर्थन नहीं किया और आज भी नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ खड़ा है.
अशोक गहलोत ने कहा कि नागरिकता कानून के कारण लोकतंत्र खतरे में है. पीएम मोदी इसे लेकर गुमराह कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि केंद्र का एजेंडा आरएसएस का एजेंडा है, वो देश को बांटना चाहते हैं. इस बीच हम उनसे मुकाबला करने को तैयार हैं. पूरा देश उनका मुकाबला करने को तैयार है. साथ ही राजस्थान के मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे प्रदेश में नागरिकता कानून लागू नहीं करेंगे. इसके बाद अशोक गहलोत ने संविधान की प्रस्तावना को पढ़ा.
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा लागू किया गया नागरिकता कानून एमपी में लागू नहीं होगा. कांग्रेस सरकार इसे लागू नहीं करेगी.
राजघाट पर सोनिया गांधी ने संविधान की प्रस्तावना को पढ़ा. उनके बाद पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी संविधान की प्रस्तावना को पढ़ा.
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि भारत की आत्मा हमेशा से बुलंद है और रहेगी. उन्होंने कहा कि सत्य कभी पराजित नहीं हो सकता. इसके बाद उन्होंने संविधान की प्रस्तावना पढ़ी.