
पश्चिम बंगाल के भवानीपुर में होने वाले उपचुनाव (Bhabanipur Bypolls) पर कलकत्ता हाईकोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए साफ किया कि उपचुनाव को टाला नहीं जाएगा और इन्हें वक्त पर ही कराया जाएगा. कलकत्ता हाईकोर्ट ने चीफ सेक्रेटरी के पत्र पर भी आपत्ति जताई जो कि चुनाव आयोग को लिखा गया था.
बता दें कि भवानीपुर उपचुनाव की वैधता पर सवाल करते हुए एक जनहित याचिका दायर की गई थी. जनहित याचिका में सवाल किया गया था कि ऐसी कौन सी संवैधानिक अपातकालीन स्थिति थी कि भवानीपुर में चुनाव का फैसला चुनाव आयोग ने लिया.
दरअसल, राज्य के मुख्य सचिव की भवानीपुर में चुनाव करवाने की चिट्ठी चुनाव आयोग को देने के बाद चुनाव आयोग ने संवैधानिक जरूरत बताते हुए भवानीपुर में उपचुनाव का नोटिस जारी किया था. इसी पर अदालत ने आज फैसला सुनाते हुए कहा कि भवानीपुर उपचुनाव तय समय यानी 30 सितंबर को ही होंगे. हालांकि अदालत ने बंगाल के मुख्य सचिव द्वारा चुनाव आयोग को लिखी चिट्ठी पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है.
प्रचार के आखिरी दिन हुआ था दिलीप घोष पर हमला
बता दें कि भवानीपुर सीट के उपचुनाव के लिए सोमवार को प्रचार का आखिरी दिन था. प्रचार के दौरान बीजेपी के सीनियर नेता दिलीप घोष पर हमला हुआ था. हमले के आरोप TMC कार्यकर्ताओं पर लगे थे. भीड़ को हटाने के लिए दिलीप घोष के सुरक्षाकर्मी हवा में पिस्तौल लहराते भी दिखे थे.
30 सितंबर को भवानीपुर सीट पर उपचुनाव होना है. इस सीट पर बीजेपी की प्रियंका टिबरेवाल और सीएम ममता बनर्जी आमने-सामने हैं. इस सीट से सीएम ममता बनर्जी साल 2011 और साल 2016 में जीत हासिल कर चुकी हैं. इस साल अप्रैल-मई के विधानसभा चुनावों में टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी ने अपनी पारंपरिक सीट भवानीपुर छोड़कर नंदीग्राम से चुनाव लड़ा था जिसके बाद उन्हें हार का सामना करना पड़ा था. ममता बनर्जी को शुभेंदु अधिकारी के हाथों शिकस्त मिली थी.