
कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक में नई पीढ़ी और पुरानी पीढ़ी एक बार फिर आमने-सामने आ गई. 23 नेताओं द्वारा कांग्रेस नेतृत्व को लेकर जो चिट्ठी लिखी गई, उसके कारण बैठक की शुरुआत काफी तीखी रही. लेकिन अब विवाद बढ़ता देख नेताओं की ओर से माहौल शांत करने की कोशिश की जा रही है. कांग्रेस नेता राहुल गांधी के कथित बयान को लेकर पहले कपिल सिब्बल और अब गुलाम नबी आज़ाद ने सफाई पेश की है.
राज्यसभा में कांग्रेस के सदन नेता गुलाम नबी आज़ाद ने सोमवार दोपहर को ट्वीट कर लिखा, ‘इस प्रकार की कुछ खबरें चल रही हैं कि मैंने कांग्रेस वर्किंग कमेटी में राहुल गांधी से कहा है कि वो भाजपा के साथ मेरे सहयोग को साबित करें. मैं साफ कर देना चाहता हूं कि ना CWC की बैठक में और ना ही बाहर राहुल गांधी ने हमारी चिट्ठी को भाजपा से जोड़ा है.
कांग्रेस नेता ने अगले ट्वीट में लिखा कि मैंने ये कहा था कि कांग्रेस के कुछ नेता आरोप लगा रहे हैं कि हमने भाजपा की ओर से ऐसी चिट्ठी लिखी है. इसलिए मैंने बोला था कि ये काफी दुर्भाग्यपूर्ण है कि कुछ साथी (CWC से बाहर) इस प्रकार के आरोप लगा रहे हैं, अगर वो ये साबित कर दें तो मैं इस्तीफा दे दूं.
आपको बता दें कि शुरुआत में ये जानकारी आई थी कि राहुल गांधी बैठक में चिट्ठी लिखने वाले नेताओं पर भड़क गए, जिसके बाद उन्होंने ऐसे नेताओं को भाजपा को मदद पहुंचाने का आरोप लगाया था. जिसके बाद गुलाम नबी आज़ाद के इस्तीफा देने की बात सामने आई थी.
गुलाम नबी आज़ाद से पहले कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने भी राहुल गांधी पर सवाल उठाते हुए ट्वीट किया था, लेकिन कुछ देर बाद ही उन्होंने उसे डिलीट कर दिया. बाद में कपिल सिब्बल ने लिखा कि खुद राहुल गांधी ने उन्हें बताया है कि उन्होंने किसी नेता के बारे में ऐसा कुछ नहीं कहा है. इसलिए ट्वीट वापस ले लिया है.
गौरतलब है कि कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक में सोनिया गांधी ने अंतरिम अध्यक्ष पद से इस्तीफे की बात कही, साथ ही पार्टी को नया अध्यक्ष चुनने को कहा. हालांकि, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, एके एंटनी समेत कई नेताओं ने सोनिया गांधी से पद पर बने रहने की अपील की.