
जमीन घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने हेमंत सोरेन को गिरफ्तार कर लिया है. बुधवार दोपहर सवा एक बजे ईडी की टीम रांची में स्थित हेमंत सोरेन के आवास पर पहुंची. यहां उनसे 8 घंटे पूछताछ हुई. रात साढ़े 8 बजे के आसपास हेमंत सोरेन राजभवन पहुंचे. इस दौरान ईडी की टीम भी साथ थी.
सोरेन ने राज्यपाल को अपना इस्तीफा सौंपा, जिसे राज्यपाल ने मंजूर कर लिया. यहां से हेमंत अपने आवास पर पहुंचे. यहां 9 बजकर 33 मिनट पर ईडी ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया. वैसे तो हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी बड़ी नाटकीय रही. लेकिन यह पहली बार नहीं है, जब झारखंड का मुख्यमंत्री रह चुके किसी नेता की गिरफ्तारी हुई है. इस लिस्ट में हेमंत तीसरे नंबर पर हैं, क्योंकि इससे ऊपर मधु कोड़ा और शिबू सोरेन का नाम है. आइए दोनों पूर्व सीएम की गिरफ्तारी का किस्सा भी आपको बताते हैं.
मधु कोड़ा
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा अपने कार्यकाल के दौरान भ्रष्टाचार के आरोप में जेल गए थे. उन पर मनी लॉन्ड्रिंग और आय से अधिक संपत्ति जमा करने के आरोप लगे थे. कोड़ा कथित तौर पर एक खनन घोटाले में शामिल थे और उन पर रिश्वत के बदले खनन का ठेका देने के आरोप लगे थे. रिपोर्ट के मुताबिक, उन्होंने और उनके सहयोगियों ने इस तरह की गतिविधियों में शामिल होकर 4,000 करोड़ रुपये से ज्यादा की कमाई की थी. 2009 में गिरफ्तारी के बाद 2013 में उन्हें जमानत पर रिहा कर दिया गया था, लेकिन मनी-लॉन्ड्रिंग मामले में उनकी 144 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क कर ली गई थी. 2017 में उन्हें दोषी ठहराया गया और 25 लाख रुपये जुर्माने के साथ तीन साल जेल हुई थी.
शिबू सोरेन
हेमंत सोरेन के पिता और झारखंड के पूर्व सीएम शिबू सोरेन को 1994 में उनके निजी सचिव शशि नाथ झा के अपहरण और हत्या में शामिल होने के आरोप में 5 दिसंबर 2006 को दिल्ली की एक अदालत ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी. अगस्त 2007 में दिल्ली उच्च न्यायालय ने आदिवासी नेता के खिलाफ सबूत हासिल करने में बुरी तरह विफल होने पर सीबीआई को फटकार भी लगाई थी. इस दौरान शिबू सोरेन को बरी कर दिया गया था. अप्रैल 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने अपने निजी सचिव की हत्या के मामले में शिबू सोरेन को बरी करने के दिल्ली उच्च न्यायालय के फैसले को बरकरार रखा था.
तीन बार लगा राष्ट्रपति शासन
बता दें कि 15 नवंबर साल 2000 को बिहार से अलग होकर नया राज्य बने झारखंड ने 6 मुख्यमंत्रियों के शासन के साथ तीन बार राष्ट्रपति शासन देखा है. आदिवासी बहुल इस राज्य में केवल एक मुख्यमंत्री बीजेपी के रघुबर दास अपना पूरा कार्यकाल (2014 से 2019) पूरा करने में कामयाब रहे हैं. आइए आपको झारखंड के मुख्यमंत्रियों की सूची भी बताते हैं.
मुख्यमंत्री और उनके कार्यकाल
1. हेमंत सोरेन: 29 दिसंबर 2019 से अब तक
2. रघुबर दास: 28 दिसंबर 2014 से 29 दिसंबर 2019 तक
3. हेमंत सोरेन: 13 जुलाई 2013 से 28 दिसंबर 2014
4. अर्जुन मुंडा: 11 सितंबर 2010 से 18 जनवरी 2013
6. शिबू सोरेन: 30 दिसंबर 2009 से 31 मई 2010 तक
7. शिबू सोरेन: 27 अगस्त 2008 से 18 जनवरी 2009 तक
8. मधु कोड़ा: 14 सितम्बर 2006 से 23 अगस्त 2008 तक
9. अर्जुन मुंडा: 12 मार्च 2005 से 14 सितम्बर 2006 तक
10. शिबू सोरेन: 02 मार्च 2005 से 12 मार्च 2005 तक
11. अर्जुन मुंडा: 18 मार्च 2003 से 02 मार्च 2005
12. बाबूलाल मरांडी: 15 नवंबर 2000 से 17 मार्च 2003