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लोकसभा में सोनिया गांधी ने उठाई 4 मांगें, गिरिराज सिंह, अनुराग ठाकुर ने घेरा

लोकसभा में बजट सत्र के दौरान सोनिया गांधी (sonia gandhi) ने मनरेगा का जिक्र किया. MGNREGA पर बात करते हुए सोनिया गांधी ने 4 मांगें उठाईं.

सोनिया गांधी (फाइल फोटो) सोनिया गांधी (फाइल फोटो)
अशोक सिंघल
  • नई दिल्ली,
  • 31 मार्च 2022,
  • अपडेटेड 1:30 PM IST
  • संसद के बजट सत्र का दूसरा चरण चल रहा है
  • सोनिया गांधी ने MGNREGA पर सुझाव दिया

कांग्रेस की अध्यक्ष और रायबरेली से सांसद सोनिया गांधी ने गुरुवार को लोकसभा में मनरेगा का मामला उठाया, जिसपर गिरिराज सिंह और अनुराग ठाकुर ने पलटवार किया. रायबरेली से सांसद सोनिया गांधी ने कहा कि मनरेगा जिसका कई लोगों ने मजाक उड़ाया था उसी ने कोविड काल, लॉकडाउन में करोड़ों लोगों को ठीक वक्त पर मदद की. इसने सरकार के बचाव में सार्थक भूमिका निभाई. बावजूद इसके मनरेगा के बजट में लगातार कटौती हो रही है, जिससे काम मिलने और समय पर मजदूरी के भुगतान की कानूनी गारंटी कमजोर पड़ रही है.

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सोनिया गांधी ने आगे कहा कि इस साल मनरेगा का बजट 2020 की तुलना में 35 फीसदी कम है, जबकि बेरोजगारी बढ़ रही है. उन्होंने कहा कि 26 मार्च को दूसरे सभी राज्यों ने योजना के तहत नकारात्मक संतुलन दिखाया, जिसमें कामगारों का लगभग पांच हजार करोड़ बकाया है. उन्होंने कहा कि ग्राम सभा के सोशल ऑडिट पर समझौता नहीं किया जाए जाना चाहिए.

सोनिया गांधी ने उठाई ये मांग

- मनरेगा के लिए उचित बजट दिया जाए
- काम के 15 दिनों के भीतर मजदूरी का भुगतान मिले
- मजदूरी भुगतान में देरी पर मुआवजे का प्रावधान हो
- राज्यों की वार्षिक कार्ययोजनाओं को बिना किसी देरी के निर्धारित किया जाए

गिरिराज सिंह और अनुराग ठाकुर का पलटवार

सोनिया गांधी ने जैसे ही अपनी बात खत्म की, तब ही गिरिराज सिंह खड़े हो गए. उन्होंने कहा कि सोनिया गांधी ने जो बातें कहीं वे तथ्यों से परे हैं. गिरिराज ने दावा किया कि 2013-14 में सिर्फ 33 हजार करोड़ बजट था जिसे एक लाख करोड़, एक लाख 12 हजार करोड़ तक पहुंचाया गया.

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गिरिराज सिंह के बाद अनुराग ठाकुर खड़े हुए. उन्होंने कहा कि 2013-14 तक जो बजट तय किया जाता था वह भी इस्तेमाल नहीं किया जाता था. लेकिन मोदी सरकार ने एक लाख करोड़ से ज्यादा रुपया एक ही साल में दिया. वह बोले कि कांग्रेस के कार्यकाल में सिर्फ भ्रष्टाचार के मामले आते थे.

 

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