
पंजाब में कानून व्यवस्था को चाक-चौबंद करने के लिए सरकार और पुलिस प्रशासन ने कमर कस ली है. पंजाब पुलिस के प्रमुख गौरव यादव ने सभी जिलों के पुलिस आयुक्तों और जिला पुलिस प्रमुखों को थानों में पुलिस कर्मियों की संख्या बढ़ाने के लिए कहा है. इसके लिए उन्होंने अधिकारियों को पुलिस कर्मियों को गैर-जरूरी ड्यूटी से हटाने के निर्देश दिए हैं.
पंजाब में नई आम आदमी पार्टी की सरकार बनने के कुछ समय बाद ही सिद्धू मूसेवाला जैसा हत्याकांड हो गया. इसके बाद से लगातार राज्य की कानून व्यवस्था को लेकर सवाल उठ रहे हैं. ऐसे में पंजाब पुलिस की ओर कानून-व्यवस्था को चाक-चौबंद करने के लिए की गई ये घोषणा काफी अहम है.
समाचार एजेंसी पीटीआई की खबर के मुताबिक पंजाब पुलिस के डीजीपी गौरव यादव ने बुधवार को अमृतसर में बॉर्डर रेंज और कमिश्नरेट का दौरा किया. इस दौरान उन्होंने कई वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की और बॉर्डर रेंज के सभी थानेदारों के साथ भी बातचीत की.
पंजाब डीजीपी ने आपात स्थितियों से निपटने के लिए हर जिले में कम से कम एक क्विक रीएक्शन टीम बनाने और दो आर्म्ड टीम रिजर्व रखने का प्रस्ताव किया. इन टीमों में सभी अच्छी तरह से प्रशिक्षित पुलिस कर्मियों को शामिल किए जाने की बात कही जो स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप की तर्ज पर काम करेंगे.
पुलिस प्रमुख ने सभी कमिश्नरों और एसएसपी को निर्देश दिए कि पुलिस थानों को बीट में बांटे और हर बीट पर प्रतिबद्ध बीट अफसरों की तैनाती करें. उनके बीट एरिया के लिए उनकी जिम्मेदारी तय की जाए. वहीं थानेदारों को निर्देश दिया कि वो हिस्ट्रीशीटर बदमाशों की लिस्ट तैयार करें और उनकी गतिविधियों को लेकर सतर्क रहें.