
परमाणु हथियारों को लेकर वार करने में सक्षम और 4,000 किमी तक की मारक क्षमता वाली अग्नि-4 मिसाइल का सोमवार को ओडिशा के बालासोर तट पर सफल परीक्षण किया गया. इससे भारत के मिसाइल कार्यक्रम में एक और तमगा जुड़ गया है. एक हफ्ते पहले ही परमाणु क्षमता से लैस एक और मिसाइल अग्नि-5 का सफल परीक्षण किया गया था. दो चरणों वाली सतह से सतह तक मार करने वाली अग्नि-4 मिसाइल 20 मीटर लंबी है और 17 टन वजन वाली है.
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO)द्वारा विकसित इस मिसाइल का परीक्षण सेना के स्ट्रेटेजिक फोर्सेज कमांड की मिसाइल यूनिट द्वारा परीक्षण किया गया. अग्नि-4 मिसाइल में पांचवी पीढ़ी के कंप्यूटर लगे हैं. इसकी आधुनिकतम विशेषताएं उड़ान के दौरान होने वाले अवरोधों के दौरान खुद को ठीक एवं दिशानिर्देशित कर सकती हैं. इस मिसाइल का पहला परीक्षण 15 नवंबर 2011 को हुआ था. गौरतलब है कि गत 26 दिसंबर को ही भारत में विकसित 5000 से 5500 किलोमीटर से अधिक दूरी तक के लक्ष्य को भेदने में सक्षम अग्नि-5 का भी ओडिशा तट से दूर व्हीलर द्वीप से सफल परीक्षण किया गया था. यह मिसाइल भी परमाणु क्षमता से लैस है और उत्तरी चीन तक लक्ष्यों को भेद सकती है. अग्नि-5 से भारत इंटर कॉन्टिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइल रखने वाले सुपरएक्सक्लूसिव क्लब में शामिल हो गया है. अभी इस क्लब में अमेरिका, रूस, चीन, फ्रांस और ब्रिटेन ही हैं.