
अयोध्या में राम मंदिर बनने में देरी के लिए संघ प्रमुख मोहन भागवत ने राजनीति को जिम्मेदार ठहराया है. मोहन भागवत ने कहा कि हिंदू और मुस्लिम में धर्म की वजह से नहीं बल्कि राजनीतिक वजह से कलह होता है और अभी तक राम मंदिर न बन पाने की वजह भी यही राजनीति ही है.
मोहन भागवत ने कहा कि हिंदुओं के लिए राम जैसा कोई दूसरा नहीं है इसलिए अगर राजनीति बीच से हट जाए तो राम मंदिर बनने में कोई समस्या नहीं है. संघ प्रमुख ने ये बातें महाराष्ट्र के संत गुलाबराव जी महाराज के जीवन शताब्दी वर्ष के मौके पर आयोजित कार्यक्रम में कहीं.
'मंदिर बनने से कोई नीचा नहीं होगा'
राम मंदिर को लेकर संघ की गंभीरता का अंदाजा इसी से लगता है कि इस मौके पर मोहन भागव त ने उस प्रस्ताव को खारिज कर दिया, जिसमें अयोध्या में राम मंदिर की जगह पर विश्वधर्मी मानवता भवन बनाने की मांग की गई थी. भागवत ने कहा कि हिंदुओ के देश में राम के जन्मस्थान पर मंदिर बनना चाहिए. इसमें किसी को नीचा दिखाने वाली बात नहीं है. हिंदु-मुस्लिम कभी धर्म के आधार पर कलह नहीं किए. ये कलह सिर्फ राजनीतिक कारणों से है़. ये राजनीति बीच से हट जाए तो कोई समस्या नहीं है. राम सबके थे, है और रहेंगे. हिंदुओ के सामने दूसरा नहीं.
उन्होंने ये भी कहा कि जो भारत में रहता है वो हिंदू है भले उसकी पूजा पद्धति, खान पान, रहन-सहन कैसा भी हो. भागवत ने कहा कि चूंकि भारत का नाम हिंदुस्थान है, लिहाजा यहां रहने वाले सभी हिंदू और भारत मां के पुत्र है और उनकी प्रतिष्ठा इस देश से जुड़ी है. भागवत ने ये भी कहा कि हिंदुओ को कर्मशक्ति दिखाने का वक्त आ गया है, क्योंकि परिस्थिति अभी अनुकूल हैं. भले हम किसी को दुश्मन न माने लेकिन दुनिया दुष्ट है.
'मंदिर के लिए मोदी को आदेश दें भागवत'
संघ प्रमुख ने चुटकी लेते हुए कहा कि कुछ हिंदू गर्व से कहते है कि वो हिंदू हैं पर कुछ खुद को हिंदू कहने में झिझकते हैं. ऐसे हिंदुओं की शंका दूर करने के लिए बाकी हिंदुओं को खड़ा होना पड़ेगा. इस मौके पर रामजन्मभूमि न्यास के वरिष्ठ सदस्य रामविलास वेदांती ने कहा कि मोहन भागवत को पीएम नरेंद्र मोदी को आदेश देना चाहिए कि अयोध्या में राम मंदिर बनाया जाए. अगर इसके लिए जरुरत हो तो संसद का संयुक्त सत्र बुलाया जाए. मंदिर बनेगा तो भारत का गर्व बढ़ेगा.
यूपी चुनाव सामने हैं. बीजेपी और नरेंद्र मोदी के लिए ये चुनाव प्रतिष्ठा का सवाल है. लिहाजा राम मंदिर के मुद्दे को उठाना संघ और बीजेपी के लिए सियासी मजबूरी है. लेकिन मोहन भागवत के इस बयान से विपक्ष को फिर से बीजेपी और मोदी सरकार पर हमले का मौका जरूर मिल गया है.