
सरकार ने SC/ST एक्ट पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लेकर भले ही पुनर्विचार याचिका दाखिल कर दी हो लेकिन एनडीए में शामिल कई दलित नेताओं को लगता है कि दलितों के मन में सरकार के खिलाफ गुस्सा है. जिसे समझने की जरूरत है.
पुनर्विचार याचिका दाखिल किए जाने के बाद दिल्ली से बीजेपी के सांसद उदित राज ने कहा कि रोजगार नहीं मिलने और दलितों के खिलाफ हिंसा के मामलों को लेकर दलितों के मन में असंतोष है. सुप्रीम कोर्ट के फैसले ने दलितों के और भड़का दिया है.
दलितों के गुस्से को समझने की जरूरत
उन्होंने कहा कि दलितों का भारत बंद का आह्वान हैरान करने वाला है, क्योंकि इसके पीछे कोई बड़ा नेता नहीं है. दलित खुद एकजुट होकर भारत बंद में जुटे हैं. उदित राज ने कहा कि सरकार को इस गुस्से को समझने की जरूरत है और इसके बारे में कदम उठाना चाहिए.
पुनर्विचार याचिका दाखिल करने में नहीं हुई देर
उन्होंने कहा कि पुनर्विचार याचिका दाखिल करने में देर नहीं हुई है, क्योंकि सुप्रीम कोर्ट के फैसले को पढ़ने और समझने में समय लगता है. जिसके बाद ही ऐसा कदम उठाया जाता है.
दलितों की दयनीय दशा के लिए कांग्रेस जिम्मेदार
बीजेपी के दलित विरोधी होने के बारे में राहुल गांधी के बयान को उदित राज ने खारिज करते हुए कहा कि लंबे समय तक देश में कांग्रेस का ही राज रहा है. अगर आज दलितों की हालत दयनीय है तो इसके लिए कांग्रेस ही जिम्मेदार है, इसलिए राहुल गांधी को इस बारे में बोलने का नैतिक अधिकार नहीं है. गौरतलब है कि राहुल गांधी ने कहा है कि बीजेपी के डीएनए में ही दलित विरोध है.
राजनीति कर रही है कांग्रेस
बता दें कि दलित एक्ट में बदलाव को लेकर पूरे देश में दलित संगठनों ने बंद बुलाया है. केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि कांग्रेस बताए बाबा साहेब अंबेडकर को भारत रत्न 1990 में जाकर क्यों मिला, जब मिला तब वीपी सिंह सरकार को बीजेपी का समर्थन था. उन्होंने कहा कि 1956 में अंबेडकर का निधन हुआ था, इतने लंबे वक़्त तक कांग्रेस सरकारों ने उनको भारत रत्न क्यों नहीं दिया था. रविशंकर ने कहा कि कांग्रेस पार्टी इस मुद्दे पर राजनीति कर रही है.