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DCW ने पुलिस को जारी किया नोटिस, कहा- खट्टर और गोयल के खिलाफ दर्ज हो FIR

दिल्ली महिला आयोग ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी कर हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और विजय गोयल के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की है.

दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल
पंकज जैन
  • नई दिल्ली,
  • 10 अगस्त 2019,
  • अपडेटेड 6:38 PM IST

कश्मीरी लड़कियों के खिलाफ विवादित टिप्पणी और पोस्टरबाजी करने को लेकर हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और राज्यसभा सांसद विजय गोयल की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं. दिल्ली महिला आयोग ने कश्मीरी लड़कियों को लेकर राज्यसभा सांसद विजय गोयल के पोस्टर और हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर की विवादित टिप्पणी को संज्ञान लिया है. दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी कर तुरंत इनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करने को कहा है.

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आयोग ने कहा कि विजय गोयल और मनोहर लाल खट्टर के कृत्यों और बयानों ने न सिर्फ कश्मीरी बेटियों और बहनों की गरिमा को धूमिल किया है, बल्कि देश की सभी महिलाओं और लड़कियों के सम्मान को ठेस पंहुचाई है. इसके अलावा इनके कार्यों से कश्मीर के पहले से ही संवेदनशील इलाके में हिंसा भड़क सकती है. उच्च संवैधानिक पदों पर बैठे लोगों के इस तरह के बयान एक पितृसत्तात्मक समाज की धारणा को मजबूत करते हैं और महिलाओं व लड़कियों के महत्व और आवाज को कमजोर करते हैं.

विजय गोयल ने अपने दिल्ली स्थित निवास में कश्मीरी लड़कियों के बड़े-बड़े होर्डिंग्स लगा दिए हैं, जबकि खट्टर ने घोषणा की है कि अब हरियाणा के पुरुष कश्मीरी लड़कियों को शादी करके लाएंगे. इन आधार पर महिला आयोग ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी कर दोनों नेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की सिफारिश की है.

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दिल्ली महिला आयोग ने कहा कि दिल्ली पुलिस को रसिकलाल दलपतराम ठक्कर बनाम गुजरात राज्य मामले में सुप्रीम कोर्ट के फैसले के तहत मनोहर लाल खट्टर के खिलाफ केस दर्ज करना चाहिए.

इस मामले में शीर्ष अदालत ने कहा था कि यह जांच एजेंसी के अधिकार क्षेत्र में नहीं है कि महज एक सही और पूरी जांच करने से सिर्फ इसलिए परहेज करे कि अपराध उसके क्षेत्रीय अधिकार क्षेत्र से परे हुआ है. चूंकि आरोपी व्यक्तियों के बयानों का दिल्ली सहित पूरे देश में महिलाओं और लड़कियों पर सीधा और गलत  प्रभाव पड़ता है, इसलिए आयोग ने इस पर कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है.

दिल्ली महिला आयोग ने कहा कि ऐसे समय में जब कई राज्य हाई अलर्ट पर हैं, उस समय इस तरह की असंवेदनशील और गलत टिप्पणी पूरे राज्य की भावनाओं को आहत करती है. ऐसी टिप्पणी हिंसा को भड़काने की क्षमता रखती है और इसकी तुरंत जांच किए जाने की जरूरत है. आयोग ने पुलिस से 14 सितंबर 2019 तक मामले में FIR दर्जकर उनकी प्रतियां देने को कहा है.

दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने कहा कि जब अनुच्छेद 370 के खिलाफ कदम उठाने और जम्मू-कश्मीर को एकीकृत करने के लिए पूरा देश प्रधानमंत्री मोदी के साथ खड़ा है, उस समय उनकी अपनी ही सरकार के कुछ लोग उनके प्रयासों को कमजोर करने की कोशिश कर रहे हैं. महिलाओं के खिलाफ अपने अशोभनीय घटिया सोच से ऐसे लोग खुद और दूसरों को महिलाओं को संपत्ति मानने के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं. इसे तत्काल रोकने की जरूरत है. इन नेताओं ने न सिर्फ कश्मीरियों बल्कि पूरे देश को चोट पहुंचाई है. पुलिस को इनके खिलाफ तत्काल FIR दर्ज करनी चाहिए. हम कोशिश करेंगे कि मामले में सख्त कार्रवाई हो.

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