
जम्मू-कश्मीर में अतिरिक्त 25 हजार सुरक्षाबलों की तैनाती पर पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने सवालिया निशान खड़ा किया है. उमर अब्दुल्ला ने कहा, 'सेना और वायुसेना को हाई अलर्ट पर क्यों रखा गया. क्या यह 35ए या परिसीमन को लेकर हो रहा है. इस तरह का अलर्ट अगर जारी किया गया है तो यह बहुत कुछ अलग है.'
जम्मू-कश्मीर में 25 हजार जवान और भेजे जाएंगे. इससे पहले नरेंद्र मोदी सरकार ने घाटी में 100 कंपनियों को भेजने के आदेश दिए थे. पैरामिलिट्री फोर्सेज को घाटी में और सैनिक भेजने के मौखिक आदेश जारी किए गए हैं. सूत्रों के मुताबिक पिछले 4 दिनों में सेंट्रल आर्म्ड पुलिस फोर्सेज (CAPF) की 281 कंपनियां कश्मीर पहुंच चुकी हैं.
केंद्र सरकार ने इससे पहले कश्मीर घाटी में सुरक्षाबलों की 100 अतिरिक्त कंपनियां तैनात करने का फैसला लिया था. इसमें सीआरपीएफ की 50, बीएसएफ की 10, एसएसबी की 30, आईटीबीपी की 10 कंपनियां तैनात की जाने वाली थीं.
सरकार के 15 अगस्त से पहले जम्मू-कश्मीर में 10 हजार अतिरिक्त जवानों की तैनाती के आदेश के बाद कश्मीर की राजनीतिक पार्टियों ने तीखी प्रतिक्रिया जाहिर की थी.
कयास लगाए जा रहे हैं कि 35 ए को हटाने की उल्टी गिनती शुरू हो गई है. मोदी सरकार ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल के घाटी से लौटने के दो दिन बाद अतिरिक्त कंपनियों को जम्मू-कश्मीर भेजने का आदेश जारी किया है. हालांकि स्थानीय नेताओं और राजनीतिक पार्टियों ने इसका विरोध भी शुरू कर दिया है.