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Loudspeaker: राज ठाकरे का मस्जिदों से लाउडस्पीकर उतारने वाले बयान पर विरोध, मनसे नेता का इस्तीफा

महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना प्रमुख राज ठाकरे ने 3 मई तक मस्जिदों के सामने से लाउडस्पीकर हटाने की चेतावनी दी थी. उन्होंने औरंगाबाद में कहा था कि सभी खुशी से ईद मनाएं, लेकिन वह 4 मई को किसी की नहीं सुनेंगे, हालांकि बाद में उन्होंने मस्जिदों के सामने हनुमान चालीसा का पाठ करने से मना कर दिया था.

मनसे प्रमुख राज ठाकरे (फाइल फोटो) मनसे प्रमुख राज ठाकरे (फाइल फोटो)
पंकज खेळकर
  • पुणे,
  • 03 मई 2022,
  • अपडेटेड 5:54 AM IST
  • दौंड शहर के अध्यक्ष जमीर सय्यद ने प्रदेश उपाध्यक्ष को सौंपा इस्तीफा
  • औरंगाबाद में मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने की सरकार को दी थी धमकी

औरंगाबाद में मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे द्वारा मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने को लेकर महाविकास आघाडी सरकार को चेतावनी देने के बाद के  मुस्लिम पदाधिकारियों ने अब पार्टी से इस्तीफा देना शुरू कर दिया है. पुणे के तालुका अध्यक्ष जमीर सय्यद ने सोमवार को अपना इस्तीफा प्रदेश उपाध्यक्ष सुधीर पाटस्कर को सौंपा है. यह पिछले तीन साल से मनसे के शहर अध्यक्ष हैं.

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16 साल से मनसे से जुड़े हैं जमीर

16 साल से मनसे में काम कर रहे जमीर सैय्यद मनसे के कई आंदोलन में शामिल हुए थे. राज ठाकरे की मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने की धमकी से नाराज होकर कई मुस्लिम पदाधिकारी राज ठाकरे की भूमिका पर नाराज हैं. इससे पहले भी पुणे शहर के अध्यक्ष वसंत मोरे ने भी राज ठाकरे की मुस्लिम विरोधी भूमिका पर नाराजगी जताई थी. रविवार को औरंगाबाद की रैली में लाउडस्पीकर हटाने के साथ मस्जिदों के सामने लाउडस्पीकर पर हनुमान चालीसा लगाने की चेतावनी राज ठाकरे ने दी. इसके बाद दौंड के शहर अध्यक्ष जमीर सैय्यद ने यह कदम उठाया है. 

हमें भी देना आता है जवाब: इम्तियाज

वहीं राज ठाकरे के भड़काऊ भाषण का जवाब देते हुए एआईएमआईएम के सांसद इम्तियाज जलील ने कहा कि हमारे मुंह में भी जबान है, राज ठाकरे जिस अंदाज में बोलेंगे हम भी इसका जवाब उसी अंदाज में दें सकते हैं. उन्होंने कहा कि राज ठाकरे अगर चाहते तो महंगाई पर, बेरोजगारी, पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों पर बोल सकते थे लेकिन उन्हें तो केवल लाउडस्पीकर पर ही बोलना है. सांसद ने कहा कि यह मसला लॉ एंड ऑर्डर का है, सुप्रीम कोर्ट ने जो फैसला दिया था उसे देखकर सरकार को फैसला लेना चाहिए.

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ठाकरे को दी थी इफ्तार की दावत

सांसद जलील बताया हम ने राज ठाकरे को इफ्तार की दावत दी थी ताकि भाईचारा बन सके लेकिन राज ठाकरे ने पहले से ही सोच लिया था कि वह औरंगाबाद में सभा के दौरान भड़काऊ भाषण देंगे इसीलिए राज ठाकरे ने इस सभा में बढ़ती हुई महंगाई बेरोजगारी पर एक भी बात नहीं की और उन्होंने सिर्फ भड़काऊ भाषण दिया.

खत्म हो रहा ठाकरे का वर्चस्व

सांसद इम्तियाज ने कहा कि राज ठाकरे का वर्चस्व कम हो रहा है. आजकल राज नेता महापुरुषों के नाम का इस्तेमाल करके अपनी राजनीति चमकाते हैं. राज ठाकरे जैसे लोगों को छत्रपति शिवाजी महाराज के बारे में कुछ भी जानकारी नहीं है और बातें बड़ी-बड़ी करते हैं. इन लोगों को मैं शिवाजी महाराज के बारे में लिखी किताब दूंगा ताकि वह शिवाजी महाराज के विचारों को समझ सकें.

 

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