
करतारपुर कॉरिडोर के जल्द से जल्द निर्माण के लिए भारत सरकार लगातार कोशिश कर रही है. केंद्र सरकार चाहती है कि गुरु नानक देव की 550वीं जन्मशती से पहले ही करतारपुर कॉरिडोर का निर्माण हो जाए और श्रद्धालुओं की आवाजाही शुरू हो जाए. सूत्रों के मुताबिक दोनों और से निर्माण कार्य तेजी से किया जा रहा है.
इस कॉरिडोर के जरिए लगभग 10,000 तीर्थयात्री नियमित यात्रा करेंगे. इस मामले में भारत सरकार ने अपनी ओर से 31 अक्टूबर को अंतिम तिथि रखी है. इससे पहले विदेश मंत्रालय ने बृहस्पतिवार को कहा था कि भारत करतारपुर साहिब कॉरिडोर परियोजना के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है और तेजी से इसका काम पूरा करना चाहता है.
करतारपुर कॉरिडोर के निर्माण के लिए भारत 500 करोड़ खर्च करेगा. इसके साथ भारत उच्च तकनीक निगरानी प्रणाली का उपयोग करेगा और एक मजबूत सुरक्षा प्रणाली का उपयोग किया जाएगा.
श्री गुरु नानक देव जी के 550 वें प्रकाश पर्व के मौके से पहले जैसे-जैसे करतारपुर कॉरिडोर का निर्माण कार्य आगे बढ़ रहा है वैसे-वैसे पंजाब में अकाली दल-भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और सत्तासीन कांग्रेस के बीच श्रेय लेने के लिए होड़ मच गई है. अकाली दल चीफ सुखबीर सिंह बादल ने चंडीगढ़ में प्रेस कॉन्फ्रेंस करके एक एनिमेटिड वीडियो दिखाया था जिसमें उन्होंने बताया था कि करतारपुर कॉरिडोर का प्रारूप किस तरह का होगा और अब तक कंस्ट्रक्शन का काम कितना आगे बढ़ चुका है.
सुखबीर बादल ने ये भी बताया कि भारत सरकार की ओर से पाकिस्तान से इस कॉरिडोर को वीजा फ्री बनाने के प्रयास किए गए थे, लेकिन पाकिस्तान सहयोग नहीं कर रहा है. इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में सुखबीर बादल ने दावा किया कि करतारपुर कॉरिडोर को लेकर सारा खर्च भारत सरकार की ओर से उठाया जा रहा है.