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11 फीसदी बढ़े आरटीआई आवेदन, रिजेक्ट होने की संख्या घटी

सूचना के अधिकार (आरटीआई) के तहत आवेदनों की संख्या में वृद्धि हुई है. वर्ष 2018-19 में अधिक संख्या में आरटीआई आवेदन आए. इस दौरान कई मंत्रालयों ने सवालों को खारिज भी किया. लेकिन यह भी पिछले वर्ष की तुलना में कम रहा.

प्रतीकात्मक तस्वीर प्रतीकात्मक तस्वीर
आनंद पटेल
  • नई दिल्ली,
  • 22 नवंबर 2019,
  • अपडेटेड 9:55 PM IST

  • 2017-18 की तुलना में 11 फीसदी अधिक मिले आवेदन
  • रिजेक्ट आवेदनों की संख्या में 0.43 फीसदी की कमी

सूचना के अधिकार (RTI) के तहत आवेदनों की संख्या में वृद्धि हुई है. वर्ष 2018-19 में अधिक संख्या में आरटीआई आवेदन आए. इस दौरान कई मंत्रालयों ने सवालों को खारिज भी किया. लेकिन यह भी पिछले वर्ष की तुलना में कम रहा.

संसद में प्रस्तुत की गई वार्षिक रिपोर्ट के मुताबिक 2018-19 में 13.70 लाख लोगों ने आरटीआई के तहत आवेदन कर जानकारी मांगी. यह वर्ष 2017-18 की तुलना में 11 फीसदी अधिक है. रिपोर्ट के मुताबिक केंद्रीय मंत्रालयों ने 64344 (4.70 फीसदी) आवेदन खारिज किए. 2017-18 में 5.18 फीसदी आवेदन खारिज हुए थे. प्रतिशत के लिहाज से देखें तो इसमें 0.43 की गिरावट आई है.

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जनजातीय मंत्रालय ने खारिज किए सर्वाधिक आवेदन

आरटीआई आवेदन खारिज करने के मामले में जनजातीय मामलों का मंत्रालय अव्वल रहा. मंत्रालय ने 26.54 फीसदी आवेदन खारिज किए. गृह मंत्रालय ने 16.41 फीसदी आवेदन रिजेक्ट किए. रिपोर्ट के अनुसार 2017-18 के 9.72 फीसदी (140810) की तुलना में 2018-19 में 9.29 फीसदी (151481) प्रथम अपील आईं.

कितनी शिकायतों का हुआ निस्तारण

सीआईसी ने 2018-19 में 17188 द्वितीय अपील और शिकायतों का निपटारा किया. इस अवधि के दौरान कुल 22736 मामले दर्ज किए गए. वर्ष के अंत में आयोग के पास 29655 मामले लंबित थे.

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