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सूखे पर हरियाणा सरकार को सुप्रीम कोर्ट की फटकार, कहा- लोगों की जान जा रही है गंभीरता दिखाएं

गुरुवार को सुनवाई के दौरान कोर्ट ने तल्ख अंदाज में हरियाणा सरकार से कहा कि यह इस बात का उदाहरण है कि जनता परेशान है और राज्य बेफिक्र.

नई दिल्ली स्थि‍त सुप्रीम कोर्ट नई दिल्ली स्थि‍त सुप्रीम कोर्ट
स्‍वपनल सोनल/अहमद अजीम
  • नई दिल्ली,
  • 07 अप्रैल 2016,
  • अपडेटेड 6:58 PM IST

सूखे को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने हरियाणा की मनोहर लाल खट्टर सरकार को जमकर फटकार लगाई है. कोर्ट ने गुरुवार को राज्य सरकार से कहा कि आप यहां क्यों आए हैं? क्या दस्तावेज साथ लेकर आए हैं? ये कोई पिकनिक नहीं है कि चले आए. यही नहीं, कोर्ट ने गुजरात सरकार को भी डांट पिलाई. कोर्ट ने पूछा कि जब हालात के बारे में सितंबर में भी पता चल गया था तो अब सूखा घोषि‍त क्यों किया गया.

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गुरुवार को सुनवाई के दौरान कोर्ट ने तल्ख अंदाज में हरियाणा सरकार से कहा कि यह इस बात का उदाहरण है कि जनता परेशान है और राज्य बेफिक्र. अदालत ने कहा, 'ये कोई पिकनिक नहीं है कि जब चाहे चले आए. आपने कौन से कागजात जमा किए हैं? आपने दफ्तर में कुछ कागजात पाए और बस जमा कर दिए.'

देश के 12 राज्यों में सूखे के हालात को लेकर दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान कोर्ट ने गुजरात की आनंदी बेन पटेल सरकार को भी निशाने पर लिया. कोर्ट ने कहा, 'जब हालात के बारे में सितंबर के बारे में पता लग गया था कि सूखे के हालात हो सकते हैं तो आपने अब 1 अप्रैल को सूखा क्यों घोषित किया. आप बता सकते हैं कि इस दौरान लोगों के साथ क्या हुआ होगा?' इस पर जवाब देते हुए गुजरात सरकार ने कहा कि ये देरी स्थानीय चुनाव की वजह से हुआ.

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'...तो क्या सारा काम बंद हो जाएगा'
गुजरात सरकार की ओर से चुनाव के तर्क पर अदालत और बिफर गई. कोर्ट ने कहा, 'अगर चुनाव होंगे तो क्या सारा काम बंद हो जाएगा. आपकी लापरवाही की वजह से ये हालात हुए, क्योंकि राज्य की रिपोर्ट के बाद ही केंद्र टीम भेज सकती है. अब आपने सूखा घोषित किया है तो केंद्र टीम भेजेगी यानी पहले ही देरी हो चुकी है. आप छह महीने बाद सूखा घोषित करेंगे तो कैसे होगा.'

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