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शिमला में बर्फबारी, टूटा 27 साल का रिकॉर्ड, दिल्ली-NCR में बूंदाबांदी से परेशानी

जानकारी के मुताबिक, शुक्रवार से ही शिमला और हिमाचल के कई हिस्सों में बर्फबारी हो रही है. मनाली और डलहौजी में शनिवार से ही बारिश-बर्फबारी जारी है. बताया जा रहा है कि इससे पहले इस मौसम में इतनी बर्फबारी 1990 में हुई थी. शिमला में शुक्रवार से 14.8 cm, काल्पा में 14.2 cm और मनाली में 2 cm बर्फबारी हुई है.

शिमला में बर्फबारी, टूटा 27 साल का रिकॉर्ड शिमला में बर्फबारी, टूटा 27 साल का रिकॉर्ड
केशवानंद धर दुबे
  • शिमला,
  • 12 मार्च 2017,
  • अपडेटेड 1:50 PM IST

होली से ठीक पहले उत्तर भारत से सटे पहाड़ी इलाकों में भारी बर्फबारी हो रही है. इस बर्फबारी के कारण कई इलाकों का बुरा हाल है. इस साल शिमला और उसके आसपास के इलाकों में हो रही बर्फबारी ने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. बर्फबारी के कारण पहाड़ में एवलांच का खतरा भी जताया गया है.

अभी कैसे हैं हालात?
जानकारी के मुताबिक, शुक्रवार से ही शिमला और हिमाचल के कई हिस्सों में बर्फबारी हो रही है. मनाली और डलहौजी में शनिवार से ही बारिश-बर्फबारी जारी है. बताया जा रहा है कि इससे पहले इस मौसम में इतनी बर्फबारी 1990 में हुई थी. शिमला में शुक्रवार से 14.8 सेंटीमीटर (सीएम) , काल्पा में 14.2 सीएम और मनाली में 2 सीएम बर्फबारी हुई है.

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आगे कैसे रहेगा मौसम?
शिमला में रविवार को भी मौसम की आंख मिचौली जारी है. वहीं मौसम विभाग के अनुसार, रविवार को प्रदेश के कुछ इलाकों में मौसम खराब रहेगा. यहां 13 से 17 मार्च तक मौसम साफ रहेगा. हालांकि, होली में धूप खिलने की संभावना है.

दिल्ली-एनसीआर में भी मौसम की आंखमिचौली जारी
दिल्ली एनसीआर के तमाम इलाकों में मौसम बदल चुका है. पूर्वी दिल्ली, पश्चिमी दिल्ली, उत्तरी दिल्ली और दक्षिण दिल्ली में सुबह से ही तेज हवाओं के बीच ठंड की हल्की सिहरन महसूस की जा रही है. मौसम विभाग का कहना है कि अगले 24 घंटे में यहां पर कई जगहों पर रुक-रुककर हल्की बूंदाबांदी होने की संभावना है. गाजियाबाद, नोएडा, मेरठ, बड़ौत और बागपत समेत पश्चिम उत्तर प्रदेश के कई इलाकों में आसमान में बादलों की आवाजाही है और कई जगहों पर हल्की बूंदाबांदी रिकॉर्ड की गई है.

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उधर दिल्ली से लगे गुड़गांव और फरीदाबाद के तमाम इलाकों में इस बात की संभावना बन चुकी है कि यहां पर हवाओं की तेज रफ्तार के बीच में बादलों की आवाजाही बनी रहेगी और बिजली की कड़क के साथ बारिश का सिलसिला देखा जाएगा. 8 मार्च को भी ऐसे ही हालात थे. अगले 3 दिनों तक बादलों की आवाजाही के बीच रुक-रुक कर बारिश का सिलसिला देखा जा सकता है. 10 मार्च को भी दिल्ली एनसीआर के तमाम इलाकों में बारिश हुई थी.

 

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