
90 के दशक में तत्कालीन प्रधानमंत्री पी वी नरसिम्हा राव के साथ करीबियों के चलते चर्चा में रहने तांत्रिक चंद्रास्वामी का निधन हो गया है. वे पिछले कुछ समय से बीमार चल रहे थे. उनके भक्तों में देश-विदेश के अनेक राजनेता, फिल्म और उद्योगजगत की हस्तियां शामिल थीं.
1948 में जन्मे चंद्रास्वामी का असली नाम नेमिचंद था. जैन समुदाय से ताल्लुक रखने वाले नेमिचंद बचपन में ही पिता के साथ हैदराबाद चले गए. वे इंदिरा गांधी के जमाने से ही दिल्ली के राजनीतिक गलियारों में अपनी पैठ जमाने में कामयाब रहे. उनके दिल्ली आश्रम की जमीन भी इंदिरा गांधी ने ही दान की थी.
थैचर के पीएम बनने की की थी भविष्यवाणी
बताया जाता है कि पूर्व विदेशमंत्री नटवर सिंह 1975 में जब ब्रिटेन में भारत के उप उच्चायुक्त थे तो एक बार चंद्रास्वामी उन्हें मिलने इंडिया हाउस पहुंचे थे. नटवर सिंह के मुताबिक कुछ ही समय बाद चंद्रास्वामी ने मार्गरेट थैचर से मुलाकात करवाने की गुहार लगवाई. थैचर ने मुलाकात के दौरान चंद्रास्वामी से पूछा कि वो प्रधानमंत्री कब बनेंगी? चंद्रास्वामी ने जवाब दिया-तीन या चार साल में. उनकी ये भविष्यवाणी सच साबित हुई.
गणेश प्रतिमाओं को दूध पिलाने का दावा
चंद्रास्वामी का नाम कई विवादों में घिरा. नरसिम्हाराव सरकार में सामने आए कई घोटालों के तार चंद्रास्वामी तक भी पहुंचे. यहां तक कि चंद्रास्वामी को जेल तक जाना पड़ा. 90 के दशक के आखिर में जब देशभर में गणेश जी के दूध पीने की अफवाह उड़ी तो चंद्रास्वामी ने दावा किया कि उनके तंत्र के बल पर ही गणेश प्रतिमाओं ने दूध पीया था.