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ओबामा सरकार की ओर से पाकिस्तान से डील रोकने की सांसदों की मांग के बावजूद आठ एफ-16 लड़ाकू विमान बेचने के फैसले के बारे में अमेरिकी कांग्रेस को अधिसूचित करने पर भारत ने अपनी नाराजगी जताई है. विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान को एफ-16 विमानों की बिक्री पर अपनी नाखुशी जाहिर करने के लिए भारत में अमेरिकी राजदूत रिचर्ड वर्मा को साउथ ब्लॉक तलब किया. समन के बाद वर्मा साउथ ब्लॉक पहुंच गए हैं.
हर मौसम में हमले के काबिल है एफ-16
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता विकास स्वरुप ने ट्वीट कर कहा है कि पाकिस्तान को एफ-16 विमान बेचने के अमेरिका के फैसले से भारत निराश है. हम इस तर्क से सहमत नहीं है कि इस तरह के आर्म्स डील से आतंकवाद से निपटने में मदद मिलेगी. इस डील के तहत अमेरिका 70 करोड़ डॉलर में पाकिस्तान को लड़ाकू विमान देगा. यह विमान हर तरह के मौसम में हमला करने के काबिल हैं.
पूरी नहीं हुई है 70 करोड़ डॉलर की डील
अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने रिपब्लिकन और डेमोक्रेटिक दोनों ही दलों के प्रभावशाली सांसदों के बढ़ते विरोध के बावजूद कांग्रेस को बताया है कि वह पाकिस्तान को एफ-16 ब्लॉक 52 विमान, उपकरण, प्रशिक्षण और साजोसामान से जुड़े मदद वाली विदेशी सैन्य बिक्री करने को मंजूरी दे रहा है. पेंटागन की शाखा रक्षा सुरक्षा सहयोग एजेंसी ने कहा कि अनुमानित कीमत 69.94 करोड़ डॉलर है. उनकी ओर से कहा गया है कि डीले से सैन्य संतुलन पर असर नहीं पड़ेगा. एजेंसी ने बताया कि इस प्रस्तावित डील का यह नोटिस कानून के तहत जरूरी है. इसका यह मतलब नहीं है कि डील पूरी हो चुकी है.