
लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election 2024) से पहले तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी और AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी एक साथ नजर आए. इफ्तार पार्टी के दौरान मंच पर ओवैसी और रेवंत रेड्डी ने एक-दूसरे को गले लगाया. ओवैसी ने कहा कि नफरत फैलाने वालों के खिलाफ हमें साथ में लड़ना है. वहीं, सीएम रेड्डी ने कहा कि मोदी और शाह में हिम्मत नहीं है कि अल्पसंख्यकों को दिया 4 फीसदी आरक्षण तेलंगाना से हटा दें.
असदुद्दीन ओवैसी ने सीएम रेवंत रेड्डी से मुखातिब होते हुए कहा कि सीएम साहब तेलंगाना में हमें नफरत पैदा करने वालों के खिलाफ हम सभी को मिलकर लड़ना है. घरों को तोड़ने वालों के खिलाफ साथ में लड़ना होगा.
रेवंत रेड्डी ने कहा कि हमारी जिम्मेदारी सेक्युलर सरकार चलाने की है, सभी को साथ में लेकर चलना है. जब-जब कांग्रेस पार्टी सत्ता में आई, तब अल्पसंख्यकों के लिए 4 फीसदी रिजर्वेशन दिया, लोन दिया. माइनॉरिटी वेलफेयर के लिए कांग्रेस अच्छे प्रोग्राम लेकर आएगी.
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'1.5 लाख मुसलमानों का क्या...'
ओवैसी ने CAA पर बोलते हुए कहा कि असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि राज्य में हुए एनआरसी में लिस्टेड 12 लाख हिंदुओं को CAA के तहत भारतीय नागरिकता दी जाएगी, लेकिन 1.5 लाख मुसलमानों का क्या? लोग कह रहे हैं तुरंत कुछ भी नहीं होने वाला है. मैं उन्हें बताना चाहता हूं कि चीजों को सामने आने में वक्त लगता है.
उन्होंने आगे कहा कि गृह मंत्री अमित शाह ने मेरा नाम लिया जब उन्होंने कहा कि एनपीआर और एनआरसी भी लागू किया जाएगा. सरकार पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश से आने वाले लोगों को नागरिकता दे लेकिन धर्म के आधार पर नहीं.
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'हिंदू-मुस्लिम मेरी दो आंखें...'
रेवंत रेड्डी ने कहा कि कांग्रेस सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में आरक्षण की लड़ाई के लिए बेहतरीन वकीलों को नियुक्त किया था. मुस्लिमों के हितों की रक्षा करना हमारी जिम्मेदारी है. हिंदू और मुस्लिम मेरी दो आंखें हैं. उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस पार्टी धर्मनिरपेक्षता में विश्वास करती है. राज्य सरकार ने मोहम्मद शब्बीर अली को सरकार का सलाहकार नियुक्त किया था. यहां तक कि तेलंगाना लोक सेवा आयोग में भी अल्पसंख्यकों का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित किया गया.
रेवंत रेड्डी ने आश्वासन दिया कि राज्य की किसी एक युनिवर्सिटी में अल्पसंख्यक समुदाय के सदस्य को कुलपति नियुक्त किया जाएगा. सीएम रेड्डी ने कहा कि राज्य सरकार तमाम पहलुओं में अल्पसंख्यकों के उचित हिस्से की रक्षा करेगी, जिसमें डबल बेडरूम घरों का आवंटन भी शामिल है. यहां तक कि लोन के लिए भी, मुसलमानों को आवेदन करने की जरूरत नहीं है, उन्हें उनका सही हिस्सा मिलेगा.