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UP Election 2022: 'कास्ट से लेकर क्लास' तक, हर जगह पहुंचने के लिए BJP ने तैयार किया माइक्रो मैनेजमेंट प्लान

उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में आगामी चुनाव 2022 को लेकर बीजेपी (BJP) ने माइक्रो मैनेजमेंट का सहारा लिया है. इसके लिए बीजेपी ने 17 अक्टूबर से 31 अक्टूबर तक सामाजिक प्रतिनिधि सम्मेलनों की शुरुआत की है.

यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ
शिल्पी सेन
  • लखनऊ,
  • 18 अक्टूबर 2021,
  • अपडेटेड 8:29 PM IST
  • UP चुनाव 2022 को लेकर बीजेपी का माइक्रो मैनेजमेंट
  • 17 से 31 अक्टूबर तक सामाजिक प्रतिनिधि सम्मेलनों की शुरुआत
  • किसान, महिलाओं और युवाओं पर फोकस

मिशन 2022 की तैयारी में जुटी भारतीय जनता पार्टी (BJP) कोई कोर कसर नहीं छोड़ना चाहती. ‘सबका साथ' नारे को हकीकत में बदलने के लिए उत्तर प्रदेश बीजेपी ने माइक्रो मैनेजमेंट (Micro Management) का सहारा लिया है. प्रबुद्ध सम्मेलन से सबको साधने वाली बीजेपी ने अब सामाजिक समीकरण दुरुस्त करने के लिए अलग-अलग सम्मेलनों की रूपरेखा बनाते हुए 17 अक्टूबर से 31 अक्टूबर तक सामाजिक प्रतिनिधि सम्मेलनों की शुरुआत की है.

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किसान, महिला और युवाओं के लिए भी अलग से प्लान तैयार करते हुए पार्टी इन वर्गों को बताएगी कि योगी और मोदी सरकार ने उनके लिए क्या काम किया है. इसके लिए अलग से पर्चे  बांटे जाएंगे. ये अभियान दीपावली से पहले ही शुरू हो जाएगा.

'सबका साथ' के नारे को हकीकत में बदलने के लिए बीजेपी ने प्रजापति सम्मेलन से ‘सामाजिक प्रतिनिधि सम्मेलनों’ की शुरुआत कर दी है. 27 सम्मेलनों की शृंखला में ओबीसी (OBC) और अनुसूचित जाति के समाज के प्रतिनिधियों के सम्मेलन होंगे, जिसमें निर्धारित समाज के प्रतिनिधियों से संवाद कर पार्टी उनको सरकार के फैसलों की जानकारी देगी. इन सम्मेलनों में उन्हीं के समाज के महापुरुषों की तस्वीरें लगाकर उनको जोड़ा जाएगा.

यूपी चुनाव के लिए प्रबंधन के हर तरीके अपना रही बीजेपी अब माइक्रो मैनेजमेंट (Micro Management) के सहारे न सिर्फ अलग-अलग चिह्नित समाजों तक पहुंच रही है, बल्कि उन वर्गों पर भी पार्टी की नजर है जिनसे जुड़ी विशेष बातों को पार्टी उनके सामने रखेगी. इससे पहले सेवा और समर्पण अभियान के जरिए जहां पार्टी लोगों के बीच पहुंची थी, वहीं अब अलग-अलग वर्गों को साधने के लिए अलग-अलग योजना तैयार की गयी है. किसानों, युवा और महिलाओं के लिए अलग-अलग पर्चे तैयार की गए हैं जिसमें उन्हीं से सम्बंधित सरकार के फैसलों और कार्यों का जिक्र किया गया है.

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किसान, महिलाओं और युवाओं पर फोकस

किसानों के विरोध को देखते हुए मोदी सरकार द्वारा किसानों के बड़े फैसले का जिक्र कर पर्चा बांटा जाएगा. इसमें किसानों की ऋण माफी, किसान सम्मान निधि से किसानों को लाभ के साथ ही यूपी में गन्ना किसानों का रिकार्ड बकाया भुगतान और मुख्यमंत्री कृषक दुर्घटना बीमा योजना का लाभ जैसी बातों का जिक्र किया गया है. वहीं महिलाओं के लिए बने पत्रक में जहां उज्ज्वला जैसी केंद्रीय योजना से महिलाओं के लाभ की बात होगी. साढ़े चार लाख नौकरी देने की बात का जिक्र करते हुए युवाओं के लिए भी अलग से पत्रक (पर्चा) बनाया गया है.

सुनील बंसल के निर्देशन में बनाई गई सारे कार्यक्रमों की रूपरेखा

चुनाव प्रबंधन में माइक्रो मैनेजमेंट का सूत्र देने वाली बीजेपी के प्रदेश महामंत्री सुनील बंसल के निर्देशन में ही इन सारे कार्यक्रमों की रूपरेखा बनायी गयी है. बीजेपी ने 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले भी समीकरण ठीक करने के लिए सामाजिक सम्मेलन किए थे. उस समय पार्टी को इसका लाभ हुआ था. इस बार जहां समाजवादी पार्टी जनता से आशीर्वाद लेने के लिए यात्रा कर लोगों के बीच जा रही है, तो वहीं दूसरे दलों के नेताओं को शामिल कर जातीय समीकरणों पर भी काम कर रही हैं. वहीं, बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने ब्राह्मण सम्मेलन के जरिए पुराना सोशल इंजीनियरिंग दोबारा करने का संदेश दे दिया है.

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बीजेपी की नजर ओबीसी वोटर्स पर

27 सामाजिक सम्मेलन अलग-अलग समाज के लोगों पर फोकस करके होंगे जिसमें उनसे संवाद किया जाएगा. प्रजापति, राजभर, कसौधन, सैन-सविता, यादव, लोनिया-चौहान, नामदेव-दर्ज़ी, विश्वकर्मा, लोधी, पाल, बघेल, कुर्मी (पटेल गंगवार), भुर्जी, स्वर्णकार, निषाद कश्यप-केवट-मल्लाह, चौरसिया, राठौड़ तेली, साहू जातियों को साधने के लिए बीजेपी सम्मेलन करेगी.

 

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