
गोरखपुर बीआरडी मेडिकल कॉलेज में पिछले साल ऑक्सीजन की कमी से बच्चों की मौत के मामले में आरोपी कफील खान हाईकोर्ट से जमानत मिलने के बाद शनिवार देर शाम जेल से रिहा हो गए. बता दें कि इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बुधवार को उनके खिलाफ चिकित्सीय लापरवाही का कोई सबूत न मिलने पर उनकी जमानत मंजूर कर ली थी.
जेल से बाहर आने के बाद कफील ने कहा कि माननीय उच्च न्यायालय ने स्पष्ट कहा है कि उनके खिलाफ कोई सबूत नहीं है. पिछले आठ महीने में उनके परिवार ने क्या कुछ सहा है, सबको पता है. उन्होंने कहा, मैंने वही किया जो एक पिता, एक डॉक्टर और एक हिंदुस्तानी करता. मैंने बच्चों को बचाने की कोशिश की थी.
जेल से रिहा होने के बाद कफील खान ने कहा कि आठ महीने जेल में बिताने के बाद मैं मानसिक रूप से परेशान हूं और शारीरिक तौर पर भी बीमार महसूस कर रहा हूं. मैं अपने घर, अपने परिवार में जाना चाहता हूं.
कफील के खिलाफ लापरवाही का कोई सबूत नहीं
हाईकोर्ट के आदेश से मुताबिक कोर्ट ने कहा कि कफील के खिलाफ चिकित्सीय लापरवाही के कोई सबूत नहीं पाए गए. कोर्ट ने कहा कि उन्हें इतने महीने तक बेवजह जेल में रखा गया. गौरतलब है कि अगस्त, 2017 में कथित तौर पर ऑक्सीजन की आपूर्ति बाधित होने से गोरखपुर मेडिकल कॉलेज में पांच दिन में 60 से अधिक बच्चों की मौत हो गई थी. कफील को सितंबर, 2017 में गिरफ्तार किया गया था.