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'अतीक क्या आजम और मुख्तार भी करेंगे योगी की बड़ाई', बोले जेपीएस राठौर

लखीमपुर खीरी की गोला विधानसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव को लेकर सियासी पारा हाई है. इसी बीच यूपी सरकार में सहकारिता मंत्री जेपीएस राठौर ने सपा नेता आजम खान और मुख्तार अंसारी पर तंज कसा है. अतीक अहमद का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि अतीक क्या, जल्द ही आजम और मुख्तार भी सीएम योगी की बड़ाई करेंगे.

आजम खान मुख्तार अंसारी और जेपीएस राठौर आजम खान मुख्तार अंसारी और जेपीएस राठौर
अभिषेक वर्मा
  • लखीमपुर खीरी ,
  • 31 अक्टूबर 2022,
  • अपडेटेड 11:17 PM IST

यूपी सरकार में सहकारिता मंत्री जेपीएस राठौर आजम खान और मुख्तार अंसारी पर तंज कसा है. बाहुबली अतीक अहमद का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि अभी तो बाहुबली अतीक अंसारी ने ही सीएम योगी आदित्यनाथ की बड़ाई की है, जल्द ही आजम खान और मुख्तार अंसारी भी करेंगे.

यूपी सरकार के सहकारिता मंत्री जेपीएस राठौर गोला विधानसभा सीट से बीजेपी प्रत्याशी अमन गिरी के पक्ष में प्रचार करने पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने सीएम योगी की नीतियों और कार्यों की जमकर तारीफ की. उन्होंने कहा कि चुनाव में अमन गिरी की भारी मतों से जीत होगी. जनता अमन गिरी के साथ है.

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अरविंद गिरी की मौत के बाद खाली हुई सीट

लखीमपुर खीरी की गोला विधानसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव में बीजेपी ने अरविंद गिरी के बेटे अमन गिरी को उम्मीदवार बनाया है. 6 सितंबर को बीजेपी विधायक अरविंद गिरी की लखनऊ में होने वाली मीटिंग में जाते समय हार्ट अटैक से मौत हो गई थी. उनके निधन के बाद से सीट खाली हो गई थी. 

अतीक ने चिल्लाते हुए की थी सीएम योगी की तारीफ

हाल ही में अतीक अहमद ने लखनऊ कोर्ट में पेशी के दौरान चिल्लाते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की तारीफ की थी. कहा था कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बहादुर और ईमानदार हैं. बताते चलें कि साल 2017 में जैसे ही योगी आदित्यनाथ मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठे, वैसे ही अतीक अहमद के बुरे दिन शुरू हो गए.

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एक के बाद एक ताबड़तोड़ केस दर्ज होने लगे और संपत्तियां कुर्क की जाने लगीं. अतीक अहमद और उसके गुर्गों की अब तक 986 करोड़ से अधिक की संपत्ति कुर्क की जा चुकी है. अतीक अहमद के खिलाफ 98 आपराधिक मुकदमे दर्ज किए गए हैं.

2005 में हुई थी राजू पाल की हत्या 

25 जनवरी 2005 को इलाहाबाद शहर पश्चिमी से बसपा विधायक राजू पाल की हत्या कर दी गई थी. हथियारबंद पांच बदमाशों ने राजू पाल के काफिले पर अंधाधुंध फायरिंग की थी. राजू पाल और अतीक अहमद में अदावत चल रही थी.

इसके पीछे की वजह थी कि जब अतीक अहमद सांसद बना, तो शहर पश्चिम की सीट खाली हो गई. उपचुनाव हुआ तो अतीक अहमद के भाई अशरफ को राजू पाल ने चुनाव हरा दिया था. बस यहीं से झगड़े की नींव पड़ी. हालांकि, राजू पाल दो बार पहले भी जानलेवा हमला हो चुका था. इस हत्याकांड में अतीक अहमद मुख्य आरोपी है.

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