![अनुभव मित्तल [फाइल फोटो]](https://akm-img-a-in.tosshub.com/aajtak/images/story/201906/anubhav_mittal_n_1559670310_749x421.jpeg?size=1200:675)
नोएडा में सोशल ट्रेडिंग के नाम पर 37 अरब की ऑनलाइन ठगी के आरोपी अनुभव मित्तल सेक्टर 121 में क्लियो काउंटी अपार्टमेंट के क्लब में लखनऊ पुलिस के साथ पार्टी करते नजर आया. वह लखनऊ पुलिस के साथ पेशी पर आया था. अनुभव मित्तल ने देश की पहली सोशल नेटवर्किंग पर आधारित पोंजी स्कीम से 6.5 लाख लोगों से 3700 करोड़ की ठगी की थी.
ताजा मामले में जिस वक्त अनुभव लखनऊ पुलिस के साथ पार्टी करने में मशगूल था तभी वहां मौजूद लोगों ने उसको पहचान लिया. जिसके बाद लोग उससे अपने ठगे हुए पैसे को वापस देने का समय पूछने लगे. लोगों ने इस पूरे मामले का वीडियो बना लिया. जो कि सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. यह वीडियो सोमवार को लिया गया, जब आरोपी अनुभव लखनऊ पुलिस के साथ रेस्टोरेंट में मौजूद था.
साथ ही इस मामले ने लखनऊ पुलिस पर कई सवाल भी खड़े हो गए हैं. नोएडा पुलिस ने भी इस मामले को रफा दफा करने का पूरा काम किया. हालांकि इस मामले की जांच करने की जगह नोएडा पुलिस ने सभी आरोपियों को लखनऊ के लिए रवाना कर दिया.वहीं इस मामले को लेकर डीजी कानून व्यवस्था आनंद कुमार ने आज तक से कहा कि 6 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड किया जा चुका है. घोटालेबाज मित्तल को ऐश कराने वाले सस्पेंड पुलिसकर्मी में 4 पुरुष और 2 महिला सिपाही है. पेशी पर लाने वाले ये सभी पुलिसकर्मी लखनऊ पुलिस के हैं. सस्पेंड करने के अलावा इस मामले की जांच के आदेश भी दिए गए हैं.
37 अरब की ऑनलाइन ठगी
फरवरी 2017 में यूपी एसटीएफ ने दिल्ली से सटे नोएडा में सोशल ट्रेडिंग के नाम पर 37 अरब की ऑनलाइन ठगी के बड़े मामले का खुलासा किया था. एसटीएफ ने सबसे पहले इस ठग रैकेट के सरगना अनुभव मित्तल समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया था. साथ ही कंपनी का बैंक अकाउंट भी एसटीएफ ने सीज करा दिया है, जिसमें 500 करोड़ की धनराशि जमा है. ये लोग नोएडा के सेक्टर 63 में अब्लेज़ इन्फ़ो सोल्यूशंस प्राइवेट लिमिटेड के नाम से एक कंपनी चला रहे थे. जिसने करीब 7 लाख लोगों से एक पोंजी स्कीम के तहत 3700 करोड़ से ज्यादा की रकम इनवेस्टमेंट के नाम पर ऑनलाइन ली थी. इस कंपनी ने socialtrade.biz नाम से अपनी एक वेबसाइट बनाई थी. इस पोर्टल से जुड़ने वाले को 5750 रूपये से 57,500 रुपये तक कंपनी के अकाउंट में जमा कराने होते थे. उसके बदले पोर्टल के हर सदस्य को हर क्लिक पर 5 रुपये घर बैठे मिलते थे. इस केस में कई बैंक मैनेजर और अन्य लोग भी गिरफ्तार किए गए हैं.