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राज्यसभा चुनाव: अखिलेश यादव यूपी में उतारेंगे तीन प्रत्याशी, भाजपा भी आज प्रत्याशियों की कर सकती है घोषणा

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने ऐलान किया है कि राज्यसभा चुनाव में उनकी पार्टी की ओर से तीन प्रत्याशी उतारे जाएंगे. चौथे प्रत्याशी की संभावना को नकारते हुए अखिलेश यादव ने ये घोषणा की है. वहीं भाजपा भी आज शाम तक अपने प्रत्याशियों के नामों की घोषणा कर सकती है.

अखिलेश यादव और योगी आदित्यनाथ. -फाइल फोटो अखिलेश यादव और योगी आदित्यनाथ. -फाइल फोटो
सुप्रिया भारद्वाज/शिल्पी सेन/सत्यजीत कुमार
  • नई दिल्ली/लखनऊ/रांची,
  • 28 मई 2022,
  • अपडेटेड 4:04 PM IST
  • 15 राज्यों की 57 राज्यसभा सीटों पर 10 जून को होंगे चुनाव
  • 31 मई तक प्रत्याशी कर सकेंगे नामांकन

उत्तर प्रदेश की 11 राज्यसभा सीटों पर 10 जून को चुनाव होना है. इसे लेकर समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने साफ किया है कि पार्टी चुनाव में तीन प्रत्याशी ही उतारेगी. उन्होंने चौथे प्रत्याशी के उतारने की संभावना से इनकार कर दिया है. अखिलेश की ओर से ये भी साफ किया गया है कि इन तीन प्रत्याशियों में से एक कपिल सिब्बल भी हैं. इससे पहले ये कहा जा रहा था कि अखिलेश चौथा प्रत्याशी उतार सकते हैं.

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वहीं भारतीय जनता पार्टी की ओर से आज शाम तक प्रत्याशियों के नाम का ऐलान हो सकता है. अब यूपी के 11 राज्यसभा सीटों में से तीन पर समाजवादी पार्टी के प्रत्याशियों जबकि आठ पर भाजपा के प्रत्याशियों का जीतना तय माना जा रहा है.

वहीं, कांग्रेस की ओर से खबर है कि पार्टी जयराम रमेश, पी चिदंबरम और विवेक तन्खा को राज्यसभा भेज सकती है. सूत्रों के मुताबिक, जयराम रमेश को कर्नाटक से, पी चिदंबरम को तमिलनाडु से जबकि विवेक तन्खा को मध्य प्रदेश से राज्यसभा भेजा जा सकता है. 

झारखंड: कांग्रेस और जेएमएम में अभी तक नहीं बनी है सहमति

झारखंड की दो राज्यसभा सीटों के लिए भी 10 जून को चुनाव होंगे. फिलहाल, एक सीट पर भाजपा की जीत तय मानी जा रही है जबकि दूसरे सीट के लिए झारखंड मुक्ति मोर्चा और कांग्रेस के बीच सहमति नहीं बन पाई है. बताया जा रहा है कि झामुमो के कार्यकारी अध्यक्ष और सीएम हेमंत सोरेन जल्द ही दिल्ली के लिए रवाना होंगे. महागठबंधन फोल्डर से राज्यसभा के लिए एक आम उम्मीदवार पर चर्चा को लेकर उनकी सोनिया गांधी से मुलाकात की संभावना है. 

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बता दें कि झारखंड मुक्ति मोर्चा ने कहा है कि राज्यसभा के लिए उम्मीदवार हमारी पार्टी का होगा. झारखंड विधायक दल की बैठक में राज्यसभा उम्मीदवार की घोषणा के लिए शिबू सोरेन को अधिकृत किया गया है. 

क्या है झारखंड मुक्ति मोर्चा का तर्क

JMM का तर्क है कि 30 विधायक होने के नाते राज्यसभा के टिकट पर पहला हक उसका है. इससे पहले 2020 में शिबू सोरेन राज्यसभा के लिए चुने गए थे.

वहीं कांग्रेस ने भी कहा है कि बेशक विधानसभा के सीट उसके (JMM) पास ज्यादा है लेकिन सरकार चलाने के लिए उसे 17 विधायकों के समर्थन की जरूरत भी  है. 30 के बिना अगर 17 का काम नहीं बनता तो 17 के बिना भी 30 किसी काम के नहीं हैं. कांग्रेस चाहती है कि इस बार झारखंड मुक्ति मोर्चा त्याग करे. उधर, जामताड़ा से विधायक इरफान अंसारी भी अपने पिता के लिए लॉबिंग कर रहे हैं.

15 राज्यों की 57 राज्यसभा सीटों पर 10 जून को होंगे चुनाव

31 मार्च को इससे पहले छह राज्यों की 13 राज्यसभा सीटों पर चुनाव हुए थे. इनमें से 10 सीटों पर पहले ही सांसदों का निर्विरोध निर्वाचन हो चुका था. 13 सीटों में से पांच आम आदमी पार्टी, चार भाजपा और एक यूपीपीएल, दो लेफ्ट और एक कांग्रेस के खाते में गई.

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31 मई तक कर सकेंगे नामांकन 

चुनाव आयोग की सूचना के मुताबिक चुनाव की अधिसूचना 24 मई को जारी हो चुकी ैह. उम्मीदवार 31 मई तक नामांकन कर सकेंगे. इसके बाद 1 जून को नामांकनों की जांच की जाएगी. उम्मीदवार 3 जून तक अपना नामांकन वापस ले सकेंगे. 10 जून को मतदान होंगे. मतदान सुबह 9 बजे से शाम 4 बजे तक चलेगा. मतगणना भी उसी दिन शाम 5 बजे शुरू हो जाएगी. 

इन बड़े चेहरों का भी खत्म हो रहा कार्यकाल

जिन 57 सदस्यों का कार्यकाल पूरा हो रहा है, उनमें मुख्तार अब्बास नकवी, गोपाल नारायण सिंह, मीसा भारती, शरद यादव (निधन के बाद रिक्त), रेवती रमन सिंह, सुखराम सिंह, कपिल सिब्बल, सतीश चंद्र मिश्रा, संजय सेठ, सुरेंद्र सिंह नागर, अम्बिका सोनी, पी चिदंबरम, प्रफुल्ल पटेल, संजय राउत, पीयूष गोयल, जयराम रमेश, ऑस्कर फर्नांडीस (निधन के बाद रिक्त), निर्मला सीतारमण के नाम प्रमुख हैं.

इन राज्यों में खाली पर हो रही हैं सीटें 

हरियाणा, उत्तर प्रदेश, झारखंड, बिहार, उत्तराखंड, राजस्थान, पंजाब, महाराष्ट्र, ओडिशा, कर्नाटक, तमिलनाडु, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश की रिक्त सीटों पर चुनाव होने हैं. 

अलग होती है चुनाव प्रक्रिया 

राज्यसभा चुनाव की प्रक्रिया लोकसभा और विधानसभा चुनाव से अलग है क्योंकि उसके सदस्य का कार्यकाल 6 साल का होता है. लोकसभा चुनाव में आम आदमी वोट करते हैं लेकिन राज्यसभा चुनाव के लिए आम आदमी वोट नहीं कर सकता है, इसके लिए जनता द्वारा चुने गए जन प्रतिनिधि यानी विधायक ही इस चुनाव में हिस्सा लेते हैं.

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