
उत्तर प्रदेश में नगर निकाय चुनाव होने वाला है. बीजेपी की नजर सभी नगर निगम सीटों को जीतने की है. प्रयागराज नगर निगम सीट को लेकर भी बीजेपी खासी मशक्कत कर रही है. इस सीट से बीजेपी की अभिलाषा गुप्ता वर्तमान में मेयर हैं. वह लगातार दूसरी बार मेयर बनी हैं. आइए जानते हैं अभिलाषा गुप्ता के बारे में-
कहते हैं कि एक सफल आदमी के पीछे एक औरत का हाथ होता है लेकिन ये कहानी थोड़ी उल्टी है. प्रयागराज की पहली महिला की सफलता के पीछे एक आदमी का हाथ है. यह कहानी है प्रयागराज की मेयर अभिलाषा गुप्ता की, जिनके पति नंद गोपाल नंदी इन दिनों योगी कैबिनेट में कई अहम मंत्रालयों के मंत्री हैं. आज दोनों का राजनीतिक कद काफी बढ़ा है.
लेकिन इनकी जिंदगी कभी पैसे की तंगी गुजराती थी. आलम ये था कि एक समय खाना बनता था तो दूसरे समय का खाने का पैसा नहीं रहता था. फिर भी दोनों के बीच प्यार कम नहीं हुआ. करोड़पति पिता की बात न मानकर अभिलाषा गुप्ता ने नंद गोपाल नंदी से शादी की. लाख तकलीफों के बाद भी दोनों एक-दूसरे के साथ खड़े रहे.
स्कूटर से भागकर किया था शादी
प्रयागराज के नैनी शंकरगढ़ की रहने अभिलाषा, एक ब्राह्मण परिवार से ताल्लुक रखती हैं. ग्रेजुएशन के बाद वह एमए कर चुकी थीं. इस दौरान उनकी मुलाकात दसवीं पास नंदगोपाल नंदी से हुई. दोनों ने एक दूसरे के साथ जीने मरने की कसम खाकर शादी का मन बनाया, लेकिन दोनों के रिश्ते को लेकर अभिलाषा का परिवार राजी नहीं था.
ऐसा कहा जाता है कि नंद गोपाल नंदी ने अभिलाषा से शादी की ठान ली. फिर अपने एक दोस्त का स्कूटर मांगा और अभिलाषा को उस पर बैठाकर शादी के लिए ले गए थे और शादी भी कर ली. उस दिन के बाद से अभिलाषा के परिवार वालों ने उनसे दूरी बना ली. नंद गोपाल नंदी की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी.
नंद गोपाल नंदी हमेशा छोटे-मोटे बिजनेस किया करते थे. नंदी अपनी पत्नी अभिलाषा गुप्ता को घर ले आए तो नंद गोपाल नंदी बाहर का काम देखा करते थे और अभिलाषा उनकी दुकान की देखरेख कर बिजनेस को देखा करते थी. शादी के बाद आलम यह था कि दो वक्त का खाना नसीब होना भी मुश्किल था और अभिलाषा एक ही साड़ी में अपना समय काटती थी.
लेकिन कहते हैं कि मेहनत करने वालों की मेहनत बेकार नहीं जाती और नंद गोपाल नंदी की मेहनत ही थी, जो उनको एक सफल आदमी की तरफ कदम बढ़ गया. एक अच्छे बिजनेसमैन की तरह अपनी पत्नी अभिलाषा गुप्ता के साथ मिलकर सफलता की जमीन बना लिया. इसके बाद नंद गोपाल नंदी ने राजनीति में कदम रखा.
साल 2007 में बीएसपी से शहर दक्षिणी से नंद गोपाल नंदी विधायक पद के लिए चुनाव लड़ा और जीत हासिल किया और मंत्री बन गए. इनकी जिंदगी का पल पलट सा गया. मंत्री नंदी अपनी सफलता के पीछे अपनी पत्नी अभिलाषा गुप्ता का बहुत बड़ा योगदान मानते हैं.
शुरू हुआ अभिलाषा का राजनीतिक सफर
कभी घरेलू कामकाज देखने वाली अभिलाषा ने ये कभी नहीं सोचा था कि वह राजनीति के क्षेत्र में भी कदम रखेंगी और उनके पति ने प्रयागराज की प्रथम नागरिक बनाने के लिए चुनावी मैदान में उतारेंगे, लेकिन राजनीति में विपरीत हवा होने के बावजूद 2012 में अभिलाषा गुप्ता ने प्रयागराज मेयर पद का चुनाव जीत लिया.
इसके बाद साल 2017 में अभिलाषा गुप्ता ने बीजेपी ज्वॉइन कर लिया और एक बार फिर से मेयर पद के लिए बीजेपी से उम्मीदवार बनाई गई. इस चुनाव में भी जीत दर्ज कर दोबारा प्रयागराज की मेयर बन गईं. अभिलाषा गुप्ता नंदी कहती हैं कि मेरे इस सफलता के पीछे मेरे पति का बहुत बड़ा हाथ है, उन्होंने मुझे एक घरेलू महिला से प्रयागराज की मेयर बना दिया.
मौजूदा समय में नंद गोपाल नंदी बीजेपी सरकार में कैबिनेट मिनिस्टर हैं और अभिलाषा नंदी गुप्ता प्रयागराज की मेयर हैं. अभिलाषा गुप्ता नंदी को लगता है कि उन्होंने अपने जीवन में जिस शख्स को चुना, उसकी बदौलत उन्हें शोहरत मिली है, यही वजह है जिस अभिलाषा के पिता ने दूरी बनाई थी आज वो अपनी बेटी के सफलता को देखकर उनके साथ खड़े हैं.