
उत्तर प्रदेश की रिक्त आठ विधानसभा सीटों में से सात सीटों पर चुनाव आयोग ने उपचुनाव कराने का ऐलान कर दिया है. रामपुर जिले की स्वार सीट पर उपचुनाव की तारीखों का ऐलान नहीं किया गया है बाकी सीटों पर 9 अक्टूबर से नामांकन प्रक्रिया शुरू हो जाएगी. वहीं, 3 नवंबर को वोट डाले जाएंगे जबकि 10 नवंबर को बिहार चुनाव के साथ ही नतीजे आएंगे.
उत्तर प्रदेश की कानपुर के घाटमपुर, जौनपुर के मल्हनी, रामपुर के स्वार, बुलंदशहर के सदर, आगरा के टूंडला, देवरिया के देवरिया सदर, उन्नाव के बांगरमऊ और अमरोहा के नौगावां सादात विधानसभा सीटें रिक्त थीं. इनमें रामपुर के स्वार सीट को छोड़ कर बाकी सात सीटों के उपचुनाव का ऐलान कर दिया गया है. सात में से छह सीटें बीजेपी के पास थीं, जिनमें से दो सीटें योगी सरकार के मंत्रियों के निधन के चलते खाली हुई हैं. जौनपुर की मल्हानी सीट पर सपा का कब्जा था.
यूपी की सात सीटों पर होने वाले उपचुनाव को 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव का सेमीफाइनल माना जा रहा है. बीजेपी क्लीन स्वीप करने की जुगत में है तो विपक्षी दल उपचुनाव में जीत का परचम लहरा कर आगामी विधानसभा चुनाव के माहौल को अपने पक्ष में करना चाहते हैं. कांग्रेस ने तो बकायदा रामपुर की स्वार सीट और उन्नाव के बांगरमऊ सीट पर अपने कैंडिडेट भी घोषित कर दिए थे.
रामपुर की स्वार सीट पर चुनाव नहीं
रामपुर की स्वार सीट से सपा सांसद आजम खां के पुत्र अब्दुल्ला आजम 2017 में जीते थे. अब्दुल्ला आजम की सदस्यता जन्मतिथि विवाद के चलते निरस्त हुई, जिसके चलते स्वार खाली हुई है. हालांकि, यूपी विधानसभा सचिवालय ने राष्ट्रपति को लिखे पत्र में कहा कि अब्दुल्ला आजम खान को भ्रष्ट आचरण का दोषी करार दिए जाने पर लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम-1951 की धारा 8-क के तहत चुनाव लड़ने से रोके जाने की संस्तुति की गई है. यूपी सचिवालय ने कहा कि इस पत्र पर अब राष्ट्रपति भारत निर्वाचन आयोग से सहमति प्राप्त करके छह साल चुनाव लड़ने से रोकने का आदेश जारी करेंगे. इस पर राष्ट्रपति ने अभी तक कोई निर्णय नहीं लिया है. ऐसे में माना जा रहा है कहीं इसी के चलते तो स्वार सीट पर उपचुनाव नहीं टाल दिया गया है.
यूपी की सीटें रिक्त हुई हैं
बता दें कि फिरोजाबाद की टूंडला सीट बीजेपी के डॉ. एसपी सिंह बघेल के 2019 में सांसद निर्वाचित होने के बाद इस्तीफा देने से खाली हुई है. न्यायालय में विवाद लंबित होने के कारण यहां अब तक उप-चुनाव नहीं हो सके थे, जिस पर चुनाव कराने की अब घोषणा हुई है. उन्नाव की बांगरमऊ से बीजेपी के कुलदीप सिंह सेंगर जीते थे, लेकिन उनकी सदस्यता बलात्कार के एक मामले में उम्र कैद की सजा होने के बाद खत्म हो गई है, जिसके चलते उपचुनाव हो रहे हैं.
वहीं, देवरिया सदर से बीजेपी विधायक जन्मेजय सिंह , बुलंदशहर से बीजेपी के वीरेंद्र सिरोही के निधन के चलते दोनों सीटें रिक्त हुई हैं. इसके अलावा कानपुर की घाटमपुर सीट बीजेपी विधायक कमल रानी वरुण और अमरोहा की नौगावां सादात से विधायक रहे चेतन चौहान की कोरोना वायरस के संक्रमण से निधन होने से रिक्त हुई है. कमला रानी और चेतन चौहान योगी सरकार में मंत्री थे. इसके अलावा जौनपुर के मल्हनी क्षेत्र से सपा के विधायक रहे पारसनाथ यादव के निधन से खाली हुई है.