
केदारनाथ से तीर्थयात्रियों की जान के साथ खिलवाड़ करने का सिलसिला अभी भी जारी है. 18 सितंबर को ही एक हेलिकॉप्टर हादसे में पायलट समेत सात तीर्थयात्रियों की मौत हो गई थी. यह हेलिकॉप्टर केदारनाथ से तीर्थयात्रियों को लेकर गुप्तकाशी की ओर जा रहा था. तभी केदारनाथ धाम से 2 किलोमीटर की दूरी पर गरूड़चट्टी के पास खराब मौसम की वजह से हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया था. माना जा रहा है कि हादसा फॉग और पुअर विजिबिलिटी की वजह से हुआ है. पहले हेलिकॉप्टर किसी स्थान पर टकरा गया फिर इसमें ब्लास्ट हो गया. हेलिकॉप्टर के गिरते ही ईंजन धधक उठा और हेलिकॉप्टर में ब्लास्ट हो गया. इतना बड़ा हादसा होने के बाद भी प्रशासन ने कोई सीख नहीं लगी है.
19 सितंबर को भी खराब मौसम होने के बावजूद बैक टू बैक हेलिकॉप्टर की उड़ानें जारी हैं. हेलिपैड से अधिकारी नदारद हैं. डीजीसीए के नियम के मुताबिक एक घंटे में कुछ ही उड़ानों की अनुमति है जबकि ज्यादा पैसे कमाने के लिए पायलट और यात्रियों की जान को जोखिम में डाला जा रहा है.