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लखीमपुर का गुस्सा उत्तराखंड में...किसानों का टेंट देख कैबिनेट मंत्री का कार्यक्रम रद्द

शिक्षा और खेल मंत्री अरविंद पांडेय अपनी विधानसभा क्षेत्र में स्टेडियम का शिलान्यास करने का कार्यक्रम रखा था. जैसे ही इसकी भनक किसानों को लगी, तभी किसानों ने अपना टेंट भी प्रोग्राम के सामने ही गाड़ दिया.

शिक्षा और खेल मंत्री अरविंद पांडेय (फाइल फोटो) शिक्षा और खेल मंत्री अरविंद पांडेय (फाइल फोटो)
रमेश चन्द्रा
  • उधमसिंह नगर,
  • 08 अक्टूबर 2021,
  • अपडेटेड 11:47 AM IST
  • उत्तराखंड में भी किसानों का विरोध
  • मंत्री को करना पड़ा वर्चुअल कार्यक्रम

लखीमपुर खीरी प्रकरण की धमक उत्तराखंड में भी देखने को मिल रही है जिसका खमियाजा बीजीपी नेताओं को भुगतना पड़ रहा है. दरअसल, सूबे के शिक्षा और खेल मंत्री अरविंद पांडेय ने अपनी विधानसभा क्षेत्र में स्टेडियम का शिलान्यास करने का कार्यक्रम रखा था. जैसे ही इसकी भनक किसानों को लगी, तभी किसानों ने अपना टेंट भी कार्यक्रम स्थल के सामने ही गाड़ दिया.

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लखीमपुर खीरी प्रकरण के बाद से किसानों के आंदोलन ने उग्र रूप धारण कर लिया है. इसको लेकर किसानों के संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर बीजीपी के सभी कार्यक्रम का विरोध की धमक अब उधम सिंह नगर में देखने को मिल रही है. जहां कैबिनेट मंत्री अरविंद पांडेय ने अपनी विधानसभा क्षेत्र में स्टेडियम का शिलान्यास प्रोग्राम था.

इसको लेकर किसानों ने भारी विरोध कर दिया, जिसका नतीजा यह हुआ कि कैबिनेट मंत्री अरविंद पांडेय ने अपना कार्यक्रम रद्द कर वर्चुअल मोड़ में शिलायन्स किया. विधानसभा गदरपुर के ग्राम खेमपुर में बुक्सा जनजाति के पूर्वज राजा जगत देव महाराज इंडोर स्टेडियम का शिलान्यास किया.

किसानों के विरोध प्रदर्शन की सूचना मिलते ही भारी संख्या में पुलिस फोर्स तैनात हो गया. वहीं मंत्री के बेटे अतुल पांडेय ने बताया कि क्षेत्र में 4 करोड़ 28 लाख की लागत से इंडोर स्टेडियम का खेल मंत्री अरविंद पांडेय द्वारा वर्चुअल मोड पर शिलान्यास किया, उन्हें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कार्यक्रम में शामिल होना था, इसलिए वह कार्यक्रम में नहीं पहुंच पाए.

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लखीमपुर में क्या हुआ था?

बीते दिनों लखीमपुर खीरी में प्रदर्शन कर रहे किसानों को गाड़ी से कुचलने का मामला सामने आया था. इस घटना में चार किसानों की मौत हो गई थी. इसके अलावा चार अन्य लोग भी मारे गए थे. इसमें दो बीजेपी कार्यकर्ता, एक ड्राइवर और एक पत्रकार शामिल थे. किसानों को कुचलने का आरोप केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र के बेटे आशीष मिश्र पर है.

हालांकि, आशीष मिश्र का कहना था कि वो काफिले में मौजूद नहीं थे. इस बीच कई वीडियो सामने आए, जिसने किसानों और विपक्ष को सड़क पर ला दिया. किसानों और विपक्ष के भारी विरोध के बाद आशीष मिश्र के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई, लेकिन अभी उसकी गिरफ्तारी नहीं हो पाई है. पुलिस आशीष की गिरफ्तारी के लिए दबिश दे रही है. 

 

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