CPWD के 40 हजार कर्मचारियों को इन दिनों अपने भविष्य की चिंता सता रही है. दरअसल सचिवों के एक ग्रुप ने पीएमओ को सरकारी कंपनी में बदलने की सिफारिश की है. कर्मचारियों का आशंका है कि पीएसयू में तब्दील होने के बाद विनिवेश होगा और आखिरकार CPWD निजी हाथों में चला जाएगा. कर्मचारियों को लगता है कि इससे उनकी नौकरी पर संकट आ जाएगा. इस बारे में शहरी विकास मंत्रालय में दाखिल RTI से कोई नतीजा नहीं निकल सका है.