सिविल सर्विसेज डे के मौके पर पीएम मोदी दिल्ली के विज्ञान भवन में देश के नौकरशाहों से मुखातिब थे और उन्होंने अपने ही अंदाज में देश के नौकरशाहों को कहानी सुनाई और देश सेवा में काम करने की नसीहत दी. प्रधानमंत्री मोदी नौकरशाहों को यह बात समझाने की कोशिश कर रहे थे कि अगर देश में सचमुच परिवर्तन लाना है तो सोच को बदलना होगा. आंकड़ों की बाजीगरी से काम नहीं चलने वाला. हर कदम उठाने से पहले मन में यह सोचना होगा कि क्या हमारे इस काम से देश में कोई सार्थक परिवर्तन होगा या नहीं. सिर्फ दिखाने के लिए काम करने का कोई मतलब नहीं है जब तक उसका कोई असर ना हो.